समवेत द्वारा आयोजित बाल अभिव्यक्ति उत्सव “रंग ए मिलाप” उत्साह, ऊर्जा और रचनात्मकता के माहौल में रविवार को सम्पन्न हुआ. सन्हौला व खरीक प्रखंड के गोकुलपुर, काझा, कुसहापुर, खैरपुर नन्हकार, नवादा, नरकटिया और मनसिंगार गांवों से आई करीब 150 किशोरियों ने रंगमंच, संगीत, नृत्य और कला के रंग बिखेरते हुए अपनी आवाज और व्यक्तित्व को सशक्त रूप में प्रस्तुत किया.
कार्यक्रम की शुरुआत नाटक, समूह गीत, आदिवासी नृत्य और लोकनृत्य से हुई, जिसने दर्शकों को भावनात्मक और सांस्कृतिक रूप से जोड़ लिया. वर्तमान परिस्थितियों में किशोरियों के लिए चुनौतियां विषय पर हुई परिचर्चा में प्रतिभागी लड़कियों ने शिक्षा, सुरक्षा, अवसरों की कमी और डिजिटल अंतराल जैसे मुद्दों पर अपनी स्पष्ट राय रखी. उत्सव में प्रेरणा केंद्र की किशोरियों द्वारा निर्मित क्राफ्ट, पेंटिंग, बाल मजदूरी पर सुहानी की एकल पोस्टर प्रदर्शनी, तथा आदिवासी समुदाय की पारंपरिक हस्तशिल्प प्रदर्शनी आकर्षण का केंद्र रही. समवेत के प्रशिक्षक संतोष कुमार की नेचर पेंटिंग प्रदर्शनी को भी काफी सराहना मिली. कार्यक्रम का उद्घाटन भागलपुर की वरिष्ठ चिकित्सक डॉ अर्चना झा, साहित्यकार एवं चित्रकार रंजन, समवेत के निदेशक विक्रम, सचिव सुनील कुमार साह, अध्यक्ष छाया पांडे, रंग आलोचक सुनील जैन, सामाजिक कार्यकर्ता अरुणिमा सिंह, राय प्रवीर, बासुकीनाथ मिश्रा, मो शाहिन अनीश, श्रीकांत मंडल और ऐनूल होदा, अरुणिमा सिंह ने संयुक्त रूप से किया.
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