दाउदनगर.
दाउदनगर महाविद्यालय में प्रधानाचार्य प्रो डॉ एम एस इस्लाम के दिशा निर्देश पर दो कार्यक्रम आयोजित किये गये. प्रथम कार्यक्रम के तहत राष्ट्रीय सेवा योजना इकाई द्वारा अंतरराष्ट्रीय वन दिवस मनाया गया. महाविद्यालय परिसर में पौधारोपण किया गया. एनएसएस के स्वयंसेवकों एवं शिक्षक-शिक्षकेतर कर्मियों ने पौधारोपण किया और सभी ने यह भरोसा दिलाया कि आने वाले समय में महाविद्यालय परिसर को पूर्णत हरित परिसर बनाया जायेगा. एनएसएस के कार्यक्रम पदाधिकारी डॉ देव प्रकाश ने कहा कि प्रत्येक वर्ष 21 मार्च को पूरे विश्व में वन दिवस मनाया जाता है, जिसका मुख्य उद्देश्य मानवता और पृथ्वी के अस्तित्व के लिए वनों व पेड़ों के महत्त्व के विषय में लोगों में जागरूकता बढ़ाना है. बिहार दिवस की पूर्व संध्या पर आईक्यूएसी के तत्वावधान में बिहार दिवस पर केंद्रीत विशेष व्याख्यान का आयोजन किया गया. हिन्दी के सहायक प्राध्यापक प्रो आकाश कुमार ने कहा कि बिहार के गौरवशाली अतीत का वर्णन किया. उन्होंने यह भी कहा कि वर्तमान बिहार में शिक्षा, स्वास्थ्य एवं रोजगार जैसी मूलभूत समस्याएं अभी भी बिहार के विकास के लिए चुनौती बनी हुई है. हम बिहारवासियों को चाहिए कि अपने अतीत के गौरव से वर्तमान की समस्याओं पर पर्दा न डालें, बल्कि उन चुनौतियों को स्वीकार करना चाहिए एवं मिल कर समस्याओं का समाधान तलाशना चाहिए, तभी बिहार उन्नत एवं विकसित बन सकता है. दर्शनशास्त्र की सहायक प्राध्यापिका डॉ रोजी कांत ने पीपीटी प्रेजेन्टेशन द्वारा बिहार के इतिहास एवं वर्तमान की चर्चा की. उन्होंने बिहार को ज्ञान की शोधशाला बताया और कहा कि महावीर एवं बुद्ध जैसे मनीषियों ने इसी बिहार की धरती पर ज्ञान प्राप्त किया था तथा जीवन जीने की कला एवं दर्शन को पूरे विश्व में फैलाया था. उन्होंने चाणक्य और चंद्रगुप्त की भी चर्चा की और कहा कि बिहार केवल भौगोलिक इकाई नहीं है वरण इतिज्ञान की आत्मा है. उन्होंने बिहार की परंपरा एवं लोक संस्कृति की चर्चा करते हुए कहा कि बिहारियो की पहचान सादगी, करुणा, भाईचारा, अपनत्व एवं प्रेमत्व से है जिसकी झलक लोकपर्व छठ में स्पष्ट रूप से दिखायी देता है. उन्होंने वर्तमान बिहार मंं डॉ राजेंद्र प्रसाद के योगदान के बारे में भी चर्चा की. दर्शनशास्त्र के सहायक प्राध्यापक डॉ बरुण कुमार चौबे ने भोजपुरी गीत एवं कविता के माध्यम से बिहार का इतिहास व लोक संस्कृति प्रस्तुत किया.अध्यक्षता आई क्यूएसी के प्रभारी डॉ ज्योतिष कुमार ने करते हुए कहा कि विद्यार्थी अपनी उर्जा का सकारात्मक प्रयोग कर बिहार के गौरव को पुनः पा सकते हैं.संचालन बॉटनी के डॉ. सुमित कुमार मिश्रा व धन्यवाद ज्ञापन भूगोल के डॉ देव प्रकाश ने दिया. मौके पर महाविद्यालय के सभी शिक्षक, शिक्षकेत्तर कर्मी एवं छात्र-छात्राएं उपस्थित थे.डिस्क्लेमर: यह प्रभात खबर समाचार पत्र की ऑटोमेटेड न्यूज फीड है. इसे प्रभात खबर डॉट कॉम की टीम ने संपादित नहीं किया है