दाउदनगर. शहर के नगरपालिका मार्केट यानी पुरानी मछली मार्केट से लेकर सत्संग नगर गली के पास तक पीसीसी रोड का निर्माण कराया गया था. रोड निर्माण में अनियमितता का आरोप लगाते हुए सोमवार को स्थानीय लोगों द्वारा कार्य को रोकवा दिया गया था. इसके बाद जेई द्वारा उसी दिन हुए करीब 70 फुट पीसीसी निर्माण को उखड़वा दिया गया था. जेइ का कहना था कि मटेरियल निर्माण में अनियमितता के सबूत मिले हैं, जिसके कारण उस दिन हुए कार्य को उखड़वा दिया गया. अब स्थित यह है कि उखाड़ा गया मलबा नहीं हटाया गया है. इसके कारण उस रास्ते से आने जानेवाले वाहन चालकों को दिक्कत हो रही है. हालांकि, मलबे को हटाने के लिए दूसरा जेसीबी भेजा गया था, लेकिन कुछ लोगों ने यह करते हुए विरोध कर दिया था कि रविवार को भी हुए पीसीसी पथ को उखड़वाया जाये, क्योंकि एक ही संवेदक द्वारा काम कराया गया है. किसी प्रकार लोगों को शांत कराया गया था. इधर, मलबा सड़क पर पड़े होने से ट्रैफिक सिस्टम अस्त-व्यस्त हो गया है. लोगों का कहना है कि करीब आठ-नौ महीने से शहर के मुख्य बाजार में पीसीसी रोड और नाले का निर्माण किया जा रहा है. इसके कारण ट्रैफिक सिस्टम पूरी तरह अस्त-व्यस्त हो गया है. अब सड़क पर मलबा पड़े होने से आवागमन में और परेशानी हो रही है.
इओ के आने पर हटवाया जायेगा मलबा
मुख्य पार्षद अंजलि कुमारी ने बताया कि मलबा हटवाने के लिए इओ को कहा गया है. सिटी मैनेजर को भी आदेश दिया गया है. कार्यपालक पदाधिकारी अभी छुट्टी पर हैं. उनके आने पर मलबा हट जायेगा. उन्होंने यह भी बताया कि कार्यपालक पदाधिकारी, नगर विकास एवं आवास विभाग एवं जिला पदाधिकारी को पत्र लिखकर योजना संख्या पांच/ 23-24 डॉ शमशुल हक बाबू के मकान से मगध होटल तक दोनों तरफ ढक्कन सहित नाला और सड़क निर्माण में हो रही अनियमितता पर कार्रवाई करने के संबंध में लिखा है. पत्र में लिखा गया है कि उक्त योजना का कार्य प्रगति पर है. नागरिकों द्वारा की उक्त कार्य में अनियमितता जाहिर की गयी. हमारे तकनीकी दल द्वारा उसे स्वीकार कर कार्यों को रोकते हुए हो रहे कार्यों को तत्काल नष्ट कर दिया गया. पूर्व में उनके द्वारा तकनीकी टीम को विभाग के माध्यम से गतिशील कार्यों को अपने निरीक्षण में करवाने के लिए बार-बार कही गयी है. उसके बावजूद सोमवार को स्थानीय नागरिकों द्वारा कार्यों में हो रही अनियमितता को उजागर किया गया. अतः इस घटना को संज्ञान में लेते हुए नियमानुकूल कार्रवाई की जाये, ताकि भविष्य में इसकी पुनरावृत्ति नहीं हो, इसका ध्यान रखा जाये.स्थल की हुई जांच
सूत्रों से पता चला कि इस प्रकरण के बाद डीएम के निर्देश पर दो सदस्यीय विशेष जांच टीम ने मंगलवार को ही कार्यस्थल पर पहुंच कर जांच की. इस विशेष टीम में सिंचाई विभाग के कार्यपालक अभियंता सुरेश कुमार एवं अवर निर्वाचन पदाधिकारी मनोज कुमार शामिल थे. स्टीमेट के बारे में जानकारी ली गयी. यह नहीं पता चल सका है कि जांच में क्या पाया गया है.डिस्क्लेमर: यह प्रभात खबर समाचार पत्र की ऑटोमेटेड न्यूज फीड है. इसे प्रभात खबर डॉट कॉम की टीम ने संपादित नहीं किया है