रांची : किसानों से धान खरीद के समय में अब और बढ़ोतरी नहीं की जायेगी. पहले 31 मार्च तक ही धान खरीद का समय था, जिसे राज्य सरकार ने केंद्र से आग्रह कर एक माह बढ़ा दिया. केंद्र ने इसकी सहमति भी दे थी. यानी किसान अपना धान 30 अप्रैल तक सरकार को बेच सकते हैं. समय बढ़ने के बाद भी धान बेचने के लिए किसान नहीं पहुंच रहे हैं. इससे विभागीय अधिकारी परेशान हैं. बार-बार प्रखंड व गांव स्तर पर धान अधिप्राप्ति के लिए अफसर व कर्मचारी पहुंच रहे हैं. किसानों से संपर्क किया जा रहा है. इसके बाद भी काफी कम ही किसान पहुंच रहे हैं. कुल मिला कर लक्ष्य के मुताबिक किसान नहीं पहुंच रहे हैं. ऐसे में यह फैसला लिया गया है कि अब इसकी तिथि में बढ़ोतरी नहीं की जायेगी.
हावी रहे बिचौलिये : धान खरीद मामले में बिचौलिये हावी रहे. बिचौलिये सीधे किसानों के घरों व गांवों में पहुंच कर धान का उठाव करते रहे. सारा धान सीधे चावल मिलों को बेचा जा रहा है. चावल मिल मालिकों की भी इसमें संलिप्तता है. वे सीधे बिचौलिये के माध्यम से धान खरीद रहे हैं. स्थिति है कि बिचौलिये व मिल मालिकों की वजह से सरकार की धान अधिप्राप्ति योजना प्रभावित हो रही है.
कम कीमत पर खरीद रहे हैं धान : बिचौलिये किसानों से कम कीमत पर धान खरीद रहे हैं. सरकार उन्हें प्रति क्विंटल 1600 रुपये दे रही है, जबकि बिचौलिये उन्हें 11 से 13 सौ रुपये प्रति क्विंटल ही कीमत दे रहे हैं.
