36.1 C
Ranchi

BREAKING NEWS

Trending Tags:

Advertisement

रिजर्व बैंक के आरक्षित पूंजी स्तर पर जून के आखिर में रिपोर्ट दे सकती है जालान समिति

नयी दिल्ली : भारतीय रिजर्व बैंक की आरक्षित पूंजी की समीक्षा के लिए बनायी गयी विमल जालान समिति इस महीने के अंत तक अपनी रिपोर्ट दे सकती है. एक अधिकारी ने बताया कि रिपोर्ट को अंतिम रूप देने से पहले समिति को एक बैठक और करनी है. सरकार ने रिजर्व बैंक के पूर्व गवर्नर जालान […]

नयी दिल्ली : भारतीय रिजर्व बैंक की आरक्षित पूंजी की समीक्षा के लिए बनायी गयी विमल जालान समिति इस महीने के अंत तक अपनी रिपोर्ट दे सकती है. एक अधिकारी ने बताया कि रिपोर्ट को अंतिम रूप देने से पहले समिति को एक बैठक और करनी है. सरकार ने रिजर्व बैंक के पूर्व गवर्नर जालान की अध्यक्षता में 26 दिसंबर, 2018 को छह सदस्यीय समिति का गठन किया था.

इसे भी देखें : सरकार को 28,000 करोड़ रुपये का अंतरिम लाभांश देगा रिजर्व बैंक

वित्त मंत्रालय ने रिजर्व बैंक से सर्वश्रेष्ठ वैश्विक नीतियों का पालन करते हुए अधिक अधिशेष सरकार को हस्तांतरित करने के लिए कहा था. बाद में सरकार ने रिजर्व बैंक के आर्थिक पूंजी ढांचे (ईसीएफ) की समीक्षा के लिए इस समिति का गठन कर दिया. रिजर्व बैंक के पास 9.6 लाख करोड़ रुपये से भी अधिक का पूंजी अधिशेष है.

इसे भी देखें : RBI के पास आरक्षित कोष से सरकार को एक लाख करोड़ रुपये तक देने की गुंजाइश

एक अधिकारी ने बैठक के बाद यहां पत्रकारों से कहा कि जालान समिति एक और बैठक करेगी. इसके बाद अपनी रिपोर्ट इस महीने के अंत तक सौंप देगी. हालांकि, समिति को अपनी रिपोर्ट तीन महीने में सौंपनी थी. देरी की वजह पूछने पर अधिकारी ने कहा कि समिति के सदस्यों के बीच राय में मतभेद था, लेकिन इस पर बातचीत कर ली गयी है.

समिति में रिजर्व बैंक के पूर्व डिप्टी गवर्नर राकेश मोहन, वित्त सचिव सुभाष चंद्र गर्ग, रिजर्व बैंक के डिप्टी गवर्नर एनएस विश्वनाथन और रिजर्व बैंक के केंद्रीय निदेशक मंडल के दो सदस्य भारत दोषी और सुधीर मनकड़ शामिल हैं.

Prabhat Khabar App :

देश, एजुकेशन, मनोरंजन, बिजनेस अपडेट, धर्म, क्रिकेट, राशिफल की ताजा खबरें पढ़ें यहां. रोजाना की ब्रेकिंग न्यूज और लाइव न्यूज कवरेज के लिए डाउनलोड करिए

Advertisement

अन्य खबरें