लोकतंत्र का मंदिर यानि संसद अब नये तरीके से तैयार हो रहा है. आजादी के 75 वें साल में संसद सत्र की शुरुआत नयी बिल्डिंग में होगा. 10 दिसंबर को नये संसद की आधारशिला रखी जानी है. नये संसद में कई नयी सुविधाएं होंगी.
सुरक्षा के कई उपाय होंगे. लोकतंत्र का वर्तमान मंदिर 100 साल पूरे कर रहा है. नये सदन में कई नयी सुविधाएं होंगी. नये सदन में क्या - क्या नयी सुविधाएं होगीं आइये जानते हैं. नया सदन भूकंप रोधी क्षमता वाला होगा यानि इस नयी इमारत पर भूकंप का असर नहीं होगा. वायु और ध्वनि प्रदूषण पर नियंत्रण के लिए भी उपाय किये गये हैं.
इसके लागत की बात करें तो इसमें 861.90 करोड़ रुपये खर्च होंगे. इसे तैयार करने वाली कंपनी है टाटा प्रॉजेक्ट लिमिटेड. इसके निर्माण में 2,000 लोग सीधे तौर पर शामिल होंगे तथा 9,000 लोगों की परोक्ष भागीदारी होगी.
नये भवन में 1,224 सांसद एक साथ बैठ सकेंगे. लोकसभा कक्ष में 888 और राज्यसभा कक्ष में 384 सदस्यों के लिए सीटें आवंटित होंगी.भविष्य की स्थिति को ध्यान में रखकर यह भवन बनाया जा रहा है. मौजूदा में समय में लोकसभा के 543 और राज्यसभा के 245 सदस्य हैं.नये भवन के माध्यम से देश की सांस्कृतिक विविधता प्रदर्शित होगी.
सभी सांसदों के लिए अलग से दफ्तर होगा जिसमें आधुनिक सुविधाएं होंगी. यहां डिजिटल सुविधाएं होंगी. नये संसद भवन को कागज रहित बनाने की दिशा में भी काम किया जा रहा है. यह कोशिश है कि दफ्तर के काम में कागज का कम से कम इस्तेमाल हो. सांसदों के लिए एक लॉन्ज होगा जिसमें लाइब्रेरी होगी, भोजन कक्ष होगा और पार्किग की आधुनिक सुविधा होगी.
नये संसद भवन के लिए 10 दिसंबर को भूमि पूजन किया जाएगा. स्पीकर ओम बिरला (Om Birla) ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी (Narendra Modi) के आवास पर पहुंचकर उन्हें भूमि पूजन कार्यक्रम में मुख्य अतिथि बनने के लिए आमंत्रित किया. जिसके बाद उन्होंने जानकारी दी कि नए संसद के भवन का शिलान्यास 10 दिसंबर को 1 बजे माननीय प्रधानमंत्री जी के द्वारा भूमिपूजन के साथ किया जाएगा.