13.1 C
Ranchi

BREAKING NEWS

Advertisement

खाली पड़ी जमीनों को बेचने की तैयारी में केंद्र सरकार, विभागों को भेजी चिट्ठी

मंत्रालय ने पूछा है कि ऐसी जमीनों का क्या इस्तेमाल है. उन पर कौन सा काम चल रहा है. रक्षा मंत्रालय ने इसके लिए तीन महीने का समय दिया है. इन पुरानी जमीनों में ब्रिटिश काल के कैंपिंग ग्राउंड है, दूसरे विश्वयुद्ध के दौरान बनाये गये हवाई अड्डे हैं, कुछ में आयुध कारखाना है.

केंद्र सरकार अपनी उन जमीनों को बेचने की योजना बना रही है जिसका लंबे समय से कोई इस्तेमाल नहीं हो रहा है. रक्षा मंत्रालय के तहत ऐसी कई जमीनें हैं जिसका कोई सरकारी उपयोग नहीं हो रहा है. इस संबंध में मंत्रालय ने डीआरडीओ, तटरक्षक, आयुध निर्माणी बोर्ड सहित कई को चिट्ठी लिखी है.

मंत्रालय ने पूछा है कि ऐसी जमीनों का क्या इस्तेमाल है. उन पर कौन सा काम चल रहा है. रक्षा मंत्रालय ने इसके लिए तीन महीने का समय दिया है. इन पुरानी जमीनों में ब्रिटिश काल के कैंपिंग ग्राउंड है, दूसरे विश्वयुद्ध के दौरान बनाये गये हवाई अड्डे हैं, कुछ में आयुध कारखाना है.

Also Read: कोरोना को दे चुके हैं मात तो वैक्सीन के बाद बूस्टर डोज की जरूरत नहीं

मंत्रालय इन जमीनों की दो तरह से पहचान करेगा. पहली श्रेणी A-2 और दूसरी B-4 है. A-2 में सैन्य अधिकारियों द्वारा उपयोग नहीं जाता इसका इस्तेमताल अस्थायी होता है जबकि B-4 में वैसी जमीन जो किसी अन्य वर्ग की भूमि में शामिल नहीं है.

Also Read: Black Fungus New Variant : अब ब्लैक फंगस के अलग वेरिएंट ने बढ़ायी परेशानी, इससे लड़ने के लिए कारगर नहीं है पुरानी दवा

खाली भूमि और रक्षा भूमि के उपयोग के संबंध में बोस समिति की सिफारिशों को लागू किया जायेगा एक अध्ययन के बाद, तीन श्रेणियों के तहत वर्गीकृत किया गया है. इसे एक खंड में लागू करने का फैसला लिया है.

Prabhat Khabar App :

देश, एजुकेशन, मनोरंजन, बिजनेस अपडेट, धर्म, क्रिकेट, राशिफल की ताजा खबरें पढ़ें यहां. रोजाना की ब्रेकिंग हिंदी न्यूज और लाइव न्यूज कवरेज के लिए डाउनलोड करिए

Advertisement

अन्य खबरें

ऐप पर पढें