जयपुर : राजस्थान में भीलवाडा के एमजी सरकारी अस्पताल में उपचार के लिए लाये गये दो शिशुओं के शरीर गर्म लोहे से दागे हुए मिले. एम जी अस्पताल के शिशु रोग विशेषज्ञ ओ पी आगल ने आज यह जानकारी देते हुए बताया कि अस्पताल में शुक्रवार को चितौड़गढ जिले से नौ माह और रविवार को भीलवाडा जिले से दो साल की बच्ची को अस्पताल लाया गया. दोनों शिशुओं के शरीर पर एक-एक स्थान पर गर्म सरिये से दागे जाने के निशान हैं. उन्होंने बताया कि दोनों बच्चियां निमोनिया और एनीमिया से पीडि़त थीं लेकिन तथाकथित झोलाछाप डॉक्टरों ने उनका उपचार करने के लिए उनके शरीर गर्म सरिये से दाग दिये. आगल ने बताया कि चितौड़गढ से लायी गयी बच्ची का इलाज किया गया और खून चढाया गया.
इस बीच परिजन उसे अस्पताल प्रशासन को बताये बिना ले कर चले गये जबकि दो साल की बच्ची का उपचार अस्पताल में जारी है. आगल ने बताया कि अस्पताल प्रशासन ने बिना अनुमति के उपचाराधीन बच्ची को घर ले जाने और दोनों बच्चियों को लोहे के सरिये से दागने के मामले में पुलिस को सूचना दी गई है.
पुलिस के स्तर पर यह मामला विचाराधीन है. इधर भीलवाडा और चितौडगढ पुलिस ने बताया कि भीलवाड़ा के सरकारी अस्पताल एम जी ने पुलिस को इस बारे में सूचना दी है. मामले की आरंभिक जांच की जा रही है. फिलहाल मामला दर्ज नहीं किया गया है.