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डुमरी उपचुनाव: नावाडीह व चंद्रपुरा में आजसू पड़ी कमजोर, डुमरी में बढ़ी झामुमो की पकड़, अब 2024 की तैयारी शुरू

2019 के विधानसभा चुनाव में जेएमएम प्रत्याशी दिवंगत जगरनाथ महतो को डुमरी विधानसभा के डुमरी प्रखंड में 24 हजार वोट मिले थे, जबकि इस बार जेएमएम प्रत्याशी बेबी देवी को डुमरी प्रखंड में 42 हजार वोट मिले हैं यानी झामुमो को डुमरी में इस बार बढ़त मिली.

बेरमो(बोकारो)राकेश वर्मा: डुमरी उपचुनाव में मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन ने तीन बड़ी चुनावी सभाएं की थीं और एक रोड शो किया था. उन्होंने हमेशा अपने संबोधन में एक ही नारा दिया था, इस बार एक लाख पार. आखिरकार चुनाव परिणाम आया. इंडिया महागठबंधन से झामुमो प्रत्याशी बेबी देवी को एक लाख से कुछ ज्यादा मत मिले. उपचुनाव में जेएमएम को जीत तो मिल गयी, लेकिन यह चुनाव अपने पीछे कई तरह के सवाल छोड़ गया. चुनावी पंडित इसका विश्लेषण करने में जुट गये हैं. डुमरी विधानसभा उपचुनाव के परिणाम की विवेचना करें तो नावाडीह व चंद्रपुरा प्रखंड में आजसू जहां कमजोर पड़ा, वहीं डुमरी प्रखंड में जेएमएम की पकड़ पिछले चुनाव के मुकाबले इस बर बढ़ी है, जबकि डुमरी प्रखंड से आजसू को बढ़त मिली.

दिवंगत जगरनाथ महतो को डुमरी से मिले थे 24 हजार वोट

जानकारी के अनुसार 2019 के विधानसभा चुनाव में जेएमएम प्रत्याशी दिवंगत जगरनाथ महतो को डुमरी विधानसभा के डुमरी प्रखंड में 24 हजार वोट मिले थे, जबकि इस बार जेएमएम प्रत्याशी बेबी देवी को डुमरी प्रखंड में 42 हजार वोट मिले हैं यानी झामुमो को डुमरी में इस बार बढ़त मिली. आजसू को डुमरी प्रखंड में ज्यादा लीड बनाने का मौका नहीं दिया. डुमरी प्रखंड के उत्तराखंड में जेएमएम व आजसू के बीच कांटे की टक्कर रही. यहां से जेएमएम 15 सौ लीड लेकर आगे बढ़ा, लेकिन डुमरी प्रखंड के इसरी बाजार ने आजसू प्रत्याशी यशोदा देवी को 5700 का लीड दे दिया. इस लीड के बाद कुछ देर के लिए जेएमएम खेमे में काफी बैचेनी दिखी, लेकिन डुमरी प्रखंड में 12 राउंड की गिनती खत्म होते ही जैसे ही नावाडीह प्रखंड के उग्रवाद प्रभावित उपरघाट की नौ पंचायतों में वोटों की गिनती शुरू हुई, वैसे ही जेएमएम ने आजसू की लीड को पाट दिया.

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यशोदा देवी के वोटों में पिछली बार से इजाफा

ऊपरघाट के इलाके में जेएमएम को करीब सात हजार बढ़त मिली जो आजसू के लगभग 6 हजार के लीड को पाट दिया. इसके बाद नावाडीह प्रखंड के 15 पंचायतों में 12885 वोट से जेएमएम आगे निकल गया. जब चंद्रपुरा प्रखंड की नौ पंचायतों में वोटों की गिनती शुरू हुई तो यहां भी जेएमएम को बढ़त मिलती गयी. चंद्रपुरा प्रखंड के सभी 45 बूथों में झामुमो की प्रत्याशी बेबी देवी को 15 हजार 407 जबकि आजसू की यशोदा देवी को 9 हजार 612 वोट मिले़. हालांकि यशोदा देवी के वोटों में पिछली बार से इजाफा हुआ है. पिछली बार के चुनाव में जहां जगरनाथ महतो को यहां के बूथों से लगभग 14 हजार वोट मिले थे, वहीं यशोदा देवी ने साढ़े पांच हजार वोट प्राप्त किया था.

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मुस्लिम मतों के धुव्रीकरण ने जेएमएम को दिलायी बढ़त

जानकारी के अनुसार इस बार के चुनाव में मुस्लिम मतों के धुव्रीकरण ने जेएमएम को डुमरी, नावाडीह व चंद्रपुरा प्रखंड के नौ पंचायतों में बढ़त दिलायी, जिसके कारण जीत सुनिश्चित हो सकी, जबकि कुर्मी मतदाताओं का धुव्रीकरण जेएमएम व आजसू के बीच लगभग बराबर का रहा. इससे जेएमएम को कुछ नुकसान हुआ जबकि आजसू को इसका फायदा मिला. कई जानकारों का कहना है कि पिछली बार जेएमएम को करीब 71 हजार वोट मिले थे, जबकि इस बार एक लाख के करीब वोट मिले हैं. इसमें अगर मुस्लिम मतों के वोट को घटा दिया जाए तो जेएमएम को 2019 के विधानसभा चुनाव की तुलना में बहुत ज्यादा फायदा नहीं हुआ है, जबकि एनडीए के वोट बैंक में पिछले चुनाव की तुलना में 10 हजार की बढ़ोतरी हुई.

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राजनीतिक पार्टियों ने निभाया गठबंधन धर्म

इस बार के उपचुनाव में इंडिया व एनडीए के साथ गठबंधन में शामिल राजनीतिक पार्टियों ने भी गठबंधन धर्म को बखूबी निभाया. एनडीए की ओर से जहा आजसू प्रत्याशी के पक्ष में भाजपा का एकमुश्त वोट मिला. इंडिया गठबंधन से झामुमो प्रत्याशी बेबी देवी के पक्ष में कांग्रेस, सीपीआई,सीपीएम, भाकपा माले, राजद ने अपनी ओर से कोई कसर नही छोडा. इसके अलावा पूर्व मंत्री लालचंद महतो के समर्थकों का भी लाभ जेएमएम को भरपूर मिला.

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विधानसभा चुनाव की रणनीति बनाने में जुटे

डुमरी उपचुनाव के बाद जेएमएम व आजसू दोनों दल अब आने वाले 2024 में विधानसभा चुनाव को लेकर अभी से रणनीति बनाने में जुट गये हैं. जेएमएस ग्रास रुट पर जहां संगठन को मजबूत बनाने की तैयारी में लग गया है. वहीं आजसू अब अपने वोट बैंक को सहेज कर रखने की कवायद में लग गया है. आजसू का मानना है कि अब डुमरी विधानसभा में उनकी उपस्थिति मजबूत हो रही है, जिसे आने वाले दिनों में और भी सशक्त करना है.

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