चेन्नई : तमिलनाडु में गरीब और मध्यवर्ग के लोगों को किफायती दाम में पीने का शुद्ध पानी उपलब्ध कराने के लिए जयललिता सरकार राज्य में ‘अम्मा मिनरल वॉटर’ के उत्पादन की नौ इकाईयां शुरु करने वाली है. इन इकाइयों में बोतलबंद मिनरल वॉटर दस रुपए प्रति लिटर के हिसाब से मिलेगा. मुख्यमंत्री जे जयललिता ने एक बयान में कहा कि राज्य के परिवहन निगमों द्वारा स्थापित की जाने वाली ये इकाइयां मिनरल वॉटर की एक लीटर की बोतल दस रुपए में उपलब्ध कराएंगी. ताकि लोगों को साफ और सुरक्षित पानी किफायती दामों में उपलब्ध कराया जा सके.
सरकार का यह प्रयास लोगों के लिए वरदान साबित होगा. चेन्न्ई के निवासियों के लिए यह प्रयास खासतौर पर लाभदायक होगा, जिन्हें हाल ही में बोतलबंद पानी बेचने वाली फर्मों की हड़ताल के कारण अचानक झटका लगा था. तमिलनाडु प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड ने बिना लाइसेंस के चलने वाली 92 निर्माण इकाईयों को बंद कर दिया था, जिसके विरोध में यह हड़ताल की गई थी. पार्टी कार्यकर्ताओं द्वारा ‘अम्मा’ संबोधन से पुकारी जाने वाली मुख्यमंत्री जयललिता ने कहा कि पहले चरण में उपनगरीय इलाके गुम्मीदिपूंडी में एक निर्माण इकाई लगाई जाएगी. इसकी क्षमता तीन लाख लीटर प्रतिदिन होगी. जरुरी उपकरण सड़क परिवहन निगम द्वारा उपलब्ध कराए जाएंगे.
जयललिता ने कहा कि पानी की बोतलें लंबी यात्र की बसों, मोफुस्सिल बस अड्डे और यहां के बस अड्डों पर उपलब्ध कराई जाएंगी. उन्होंने कहा कि परिवहन निगम पानी की एक लीटर की बोतल दस रुपए में बेचेगा. रेलवे द्वारा यह बोतल 15 रुपए और निजी विक्रेताओं द्वारा यह बोतल 20 रुपए में बेची जाती है. उन्होंने कहा कि अन्नाद्रमुक के प्रसिद्ध दिवंगत नेता और पूर्व मुख्यमंत्री सी एन अन्नादुरई की जयंती (15 सितंबर) के अवसर पर पहली इकाई की आधिकारिक शुरुआत के बाद नौ और इकाईयां राज्य भर में स्थापित की जाएंगी. हाल में 200 से ज्यादा मिनरल वॉटर कंपनियों की हड़ताल के चलते चेन्नई निवासियों को प्यासा रहना पड़ा था क्योंकि यहां के अधिकतर लोग चेन्नई निगम की ओर से उपलब्ध कराए जाने वाले पानी के अलावा मुख्य रुप से पानी के बंद केनों पर निर्भर करते हैं.
20 लीटर पानी के एक केन की कीमत सामान्यतया 25 से 30 रुपए के बीच रहती है. हड़ताल के दिनों में मांग बढ़ने के कारण यह कीमत 80 रुपए तक पहुंच गई थी. मिनरल वॉटर का यह प्रयास अन्नाद्रमुक सरकार की ओर से गरीबों के पक्ष में उठाया गया हालिया कदम है, जो महंगाई के बोझ तले लोगों को राहत देगा. छूट प्राप्त कीमतों पर नाश्ता, दिन व रात का खाना उपलब्ध कराने वाली ‘अम्मा केंटीन’ और छूट प्राप्त कीमतों पर ही सब्जियां बेचने वाली दुकानें ऐसे ही अन्य प्रयास हैं. जयललिता ने गरीबों के लिए लाभदायक अपने इन कार्यक्रमों के बचाव में कहा कि उनकी सरकार को ऐसे कदम उठाने पड़े क्योंकि केंद्र की ‘गलत आर्थिक नीतियों’ के कारण कीमतें आसमान छूती रही हैं.