कोलकाता. राज्यपाल डॉ सीवी आनंद बोस ने श्री बंकिम चंद्र चट्टोपाध्याय द्वारा ””””वंदे मातरम्”””” लिखे जाने की 150वीं वर्षगांठ के मौके पर एक साल तक चलने वाले सेलिब्रेशन कार्यक्रमों की घोषणा की है. यह सेलिब्रेशन 10 नवंबर को गवर्नर के नेतृत्व में वंदे मातरम् मार्च के साथ शुरू हुआ, जिसमें स्टूडेंट्स, टीचर्स और बंगाली समाज के हर तबके के लोग शामिल हुए. गवर्नर ने बंदे मातरम के दूरगामी असर और रेलिवेंस पर काम करने, रिसर्च करने, पब्लिकेशन निकालने और वर्कशॉप और सेमिनार करने के लिए लोक भवन में एक बंदे मातरम चेयर शुरू की है. लोक भवन ने बंगाली भाषा और लिटरेचर को बढ़ावा देने के लिए बंदे मातरम अवॉर्ड्स भी शुरू किये हैं. 13 दिसंबर को गवर्नर वंदे मातरम् की लौ को बनाये रखने के लिए ””””नित्यशिखा”””” जलायेंगे. लोकभवन से जारी एक विज्ञप्ति में यह जानकारी दी गयी है. इसमें बताया गया है कि कार्यक्रम में समारोह की शुरुआत हुगली के चुंचुड़ा में एक प्रोग्राम से होगी, जहां बंकिम चंद्र ने वंदे मातरम् गाना लिखा था. कॉलेज और स्कूल समेत 150 एजुकेशनल इंस्टीट्यूशन वंदे मातरम ग्रुप सिंगिंग आयोजित करेंगे. बंडेल, चिनसुरा, हुगली से एक रंगीन जुलूस निकाला जायेगा. ””””वंदे मातरम्”””” थीम पर आधारित कल्चरल शो 150 जगहों पर आयोजित किया जायेगा.
एशियाटिक सोसाइटी और मौलाना अबुल कलाम आज़ाद इंस्टीट्यूट ऑफ़ एशियन स्टडीज़ बंदे मातरम के बनने के इतिहास और श्री बंकिम चंद्र चट्टोपाध्याय पर डिस्प्ले लगायेंगे. स्टूडेंट्स, टीचर्स और युवाओं का एक बड़ा जुलूस निकाला जायेगा. जुलूस को जोड़ासांको ठाकुरबाड़ी से हरी झंडी दिखायी जायेगी. वंदे मातरम् के 150 साल पूरे होने के मौके पर एक शानदार सिंगिंग शो होगा, जिसमें भारत के अलग-अलग हिस्सों से जाने-माने सिंगर हिस्सा लेंगे. इस समारोह को सफल बनाने के लिए साल भर चलने वाले कार्यक्रम को कोऑर्डिनेट करने के लिए एक कोर कमेटी बनायी है. कोर कमेटी को डॉ एसके पटनायक लीड कर रहे हैं. नेशनल काउंसिल ऑफ़ साइंस म्यूज़ियम, इंडियन म्यूज़ियम और विक्टोरिया मेमोरियल प्रोग्राम को लॉजिस्टिक सपोर्ट देंगे. ईस्टर्न ज़ोनल कल्चरल सेंटर सेलिब्रेशन की नोडल एजेंसी होगी.
बंगाल के अलग-अलग हिस्सों में विभिन्न संस्थानों में ऐसे कुल 150 कार्यक्रम होंगे.
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