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बरेली के भूमाफिया एलायंस बिल्डर की 89 करोड़ से अधिक की संपत्ति जब्त, तीन माह में ब्योरा न देने पर होगी नीलाम

बरेली के भूमाफिया एलायंस बिल्डर की 89 करोड़ से अधिक की संपत्ति जब्त की जाएगी. पुलिस ने अपनी रिपोर्ट में लिखा है कि भूमाफियाओं ने लोगों को डरा धमकाकर दहशत कायम कर जमीनों पर कब्जे किए थे. अवैध तरीके से सरकारी जमीन कब्जा कर जाली दस्तावेज से उनकी खरीद फरोख्त की.

बरेली. शहर के भूमाफिया एलायंस बिल्डर की प्रशासन ने रविवार को 89 करोड़ 441 लाख 478 रुपये की संपत्ति (प्रॉपर्टी) को जब्त किया है. इसको डीएम शिवाकांत द्विवेदी ने मंजूरी दी है. डीएम कोर्ट ने भूमाफिया की संपत्ति के लिए एसडीएम सदर को प्रशासक नियुक्त किया है. इसके साथ ही बारादरी और कैंट थाना पुलिस के माध्यम से माफियाओं को नोटिस जारी किए गए हैं. बताया जाता है कि संपत्ति जब्तीकरण की कार्रवाई के 3 माह में भूमाफियाओं को अर्जित संपत्ति के अभिलेख प्रस्तुत करने होंगे. यह अभिलेख न देने पर संपत्ति को नीलाम किया जाएगा. एसएससी प्रभाकर चौधरी के निर्देश पर पिछले दिनों पुलिस ने भूमाफिया एलायंस बिल्डर की प्रॉपर्टी जब्त की कार्रवाई की थी. पुलिस ने अपनी रिपोर्ट में लिखा है कि भूमाफियाओं ने लोगों को डरा धमकाकर दहशत कायम कर जमीनों पर कब्जे किए थे. अवैध तरीके से सरकारी जमीन कब्जा कर जाली दस्तावेज से उनकी खरीद फरोख्त की. इससे करोड़ों की काली कमाई इकट्ठी की थी. पुलिस रिपोर्ट पर सुनवाई करते हुए डीएम शिवाकांत द्विवेदी ने जब्तीकरण की कार्रवाई पर मुहर लगाई. इसके साथ ही प्रशासक नियुक्त कर दिया.

प्रॉपर्टी जीएस फ्यूल कंपनी में परिवर्तित

पुलिस के अनुसार एलायंस बिल्डर की बिहार मान नगला में अर्बन डेवलपर्स के नाम से प्रॉपर्टी को जीएस फ्यूल कंपनी के नाम पर परिवर्तित की थी. प्रॉपर्टी इनकी मां महेंद्र कौर के नाम पर थी. इंस्पेक्टर कैंट की रिपोर्ट पर 19 करोड़ 84 लाख 21 हजार 862 रुपये की संपत्तियों का मूल्यांकन किया गया था. इसमें रमनदीप सिंह, अरविंदर सिंह, बैंक ऑफ इंडिया पीलीभीत बाईपास में संपत्ति दर्ज थी. आरोपियों की मां महेंद्र कौर उन पर आश्रित हैं. इस वजह से उनके मालिकाना हक की जमीन को भी जब्त किया गया है. स्टेडियम रोड पर एलायंस बिल्डर्स के ऑफिस पर भी प्रशासक नियुक्त किया गया है. यह रेजीडेंसी गार्डन में स्थित है. इन तीनों प्रॉपर्टी पर करीब 9 करोड़ 31 लाख मूल्य के भवन बने हुए हैं. इसके अलावा 80.12 करोड़ जमीन की कीमत है. कुल 89, 44 करोड़ की प्रॉपर्टी डीएम के आदेश पर जब्ती करण कर एसडीएम सदर को उसका प्रशासक नियुक्त कर दिया गया है.

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फर्जी दस्तावेज से खोला पेट्रोल पंप

आरोपी भूमाफियाओं ने धौरहरा माफी में लीफ फिलिंग स्टेशन के नाम से फर्जी जमीनों के दस्तावेज के आधार पर पेट्रोल पंप खोल लिया. उन्होंने डीजल का लाइसेंस लिया था. 2004 में अमनदीप सिंह के नाम से इसका लाइसेंस लिया गया था. डीएसओ और राजस्व विभाग की जांच में कूट रचित दस्तावेज पाए गए. इस पर पूरी प्रॉपर्टी को सील कर उसे जब्त किया गया था.

डीएम ने की गिरोह बंद एवं समाज विरोधी क्रियाकलाप निवारण अधिनियम की कार्रवाई

डीएम शिवाकांत द्विवेदी की कोर्ट ने उत्तर प्रदेश गिरोह बंद एवं समाज विरोधी क्रियाकलाप निवारण अधिनियम (गैंगेस्टर) 1986 के तहत कार्रवाई की है. उन्होंने एसडीएम सदर को प्रशासक नियुक्त कर आदेश दिया है कि वह इसके रखरखाव के संबंध में पुलिस की सहायता लें.

रिपोर्ट- मुहम्मद साजिद बरेली

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