Rourkela News :
दुनिया में हर जगह शांति उपलब्ध है, लेकिन लोग अलग-अलग जगहों पर शांति ढूंढ रहे हैं. वास्तव में भौतिकवादी दुनिया में शांति खो गयी है. मानव भौतिक सुख के लिए शांति को त्याग रहा है. इसे देखने-समझने के लिए विशेष दृष्टि की आवश्यकता है. उस दिव्यता का अनुभव करने के लिए आध्यात्मिकता का पालन करना चाहिए. उक्त राय आध्यात्मिक गुरुओं ने व्यक्त की. मानव धर्म के प्रेरक सतपालजी महाराज के मार्गदर्शन में मानव विकास सेवा समिति, सच्चिदानंद शक्तिनगर की ओर से सेक्टर -3 अहिराबंध जगन्नाथ मंदिर प्रांगण में प्रवचन का आयोजन किया गया था. प्रवचन से पूर्व महात्मा अजपानंद के नेतृत्व में सुबह 7 बजे से 9:30 बजे तक एक मार्च निकाला गया. यह मार्च सेक्टर-3 स्थित जगन्नाथ मंदिर से शुरू होकर रिंग रोड की परिक्रमा कर वापस मंदिर पहुंचा. प्रवचन कार्यक्रम सुबह 10 से 11 बजे तक चला. इसमें बिरमित्रपुर के महात्मा दिवाकर नंद, बणई के संत विवेकानंद, ब्रह्मपुर की केतकी बाई, राउरकेला के महात्मा अजपानंद ने उपस्थित लोगों का मार्गदर्शन किया. कार्यक्रम में धार्मिक संगठन के जिला कार्यवाहक प्रथम जोगेंद्र महांत, झाड़ेश्वर बेहरा, महिपाल, मानव सेवा दल ओडिशा प्रांत महेंद्र बड़ाइक, उप-प्रांतपाल बलराम सिंह, गोवर्धन समासी, बिप्र जेना, कला केरकेटा, प्रभु सिंह, समरा ओराम, डीसी दास, हीरामणि बड़ाइक, विशेश्वर प्रधान, शुक्रा ओराम ने सक्रिय भूमिका निभायी. शाखा सचिव हृषिकेश महांत ने धन्यवाद ज्ञापन किया. कार्यक्रम में राउरकेला, बिरमित्रपुर, बिसरा और अन्य जिलों से एक हजार से अधिक अनुयायी शामिल रहे.डिस्क्लेमर: यह प्रभात खबर समाचार पत्र की ऑटोमेटेड न्यूज फीड है. इसे प्रभात खबर डॉट कॉम की टीम ने संपादित नहीं किया है

