पाकुड़ : गुमला के आरसीएच पदाधिकारी डॉ आरबी चौधरी की अपहरण के बाद हत्या कर दिये जाने के विरोध में झारखंड राज्य स्वास्थ्य सेवा संगठन की जिला इकाई एवं भारतीय चिकित्सा संघ के आह्वान पर चिकित्सकों ने काला बिल्ला लगाकार ओपीडी का बहिष्कार किया.
चिकित्सकों द्वारा ओपीडी का बहिष्कार करने के कारण मरीजों को काफी परेशानी उठानी पड़ी. सिविल सर्जन डॉ शिव शंकर हरिजन के नेतृत्व में चिकित्सकों एवं कर्मियों ने डॉ चौधरी की हत्या में शामिल अपराधियों की शीघ्र गिरफ्तार करने, उनके आश्रितों को सरकारी नौकरी देने, दस करोड़ रुपये मुआवजा राशि देने तथा राज्य के सभी चिकित्सकों को सुरक्षा की गारंटी देने की भी मांग सरकार से की. एसोसिएशन के डॉ आरके सिंह ने बताया कि इमरजेंसी, पोस्टमार्टम सेवा को बंद से मुक्त रखा गया है. आयोजित आंदोलन को सफल बनाने में डॉ ओपी आर्या, डॉ नवीना बारला, डॉ मनीष सिन्हा आदि सक्रिय दिखे.
लिट्टीपाड़ा प्रतिनिधि के मुताबिक : गुमला के आरसीएच पदाधिकारी डा चौधरी की निर्मम हत्या के विरोध में सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र में चिकित्सकों द्वारा ओपीडी कार्य का बहिष्कार किया गया.
काला बिल्ला लगाकर चिकित्सकों ने ओपीडी कार्य का बहिष्कार किया. डॉ अरविंद कुशल एक्का, डॉ एसके मेहरोत्र, डॉ शेखावत हुसैन सहित स्वास्थ्य कर्मियों ने डॉ चौधरी की हत्या की कड़ी शब्दों में निंदा की और चिकित्सकों को सुरक्षा मुहैया कराने की मांग की.