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पारा शिक्षकों पर निर्णय ले सरकार
इचाक : पारा शिक्षकों की मांगों पर राज्य सरकार सहानुभूति पूर्वक विचार कर रास्ता निकाले, ताकि पारा शिक्षकों के 16 वर्षों की तपस्या का फल उनके परिवार और बच्चों को मिल सके. उक्त बातें झामुमो जिला सचिव मनोहर राम ने कही. उन्होंने कहा कि पारा शिक्षकों को वर्तमान में 8-9 हजार मानदेय देकर सरकार अपमान […]
इचाक : पारा शिक्षकों की मांगों पर राज्य सरकार सहानुभूति पूर्वक विचार कर रास्ता निकाले, ताकि पारा शिक्षकों के 16 वर्षों की तपस्या का फल उनके परिवार और बच्चों को मिल सके. उक्त बातें झामुमो जिला सचिव मनोहर राम ने कही. उन्होंने कहा कि पारा शिक्षकों को वर्तमान में 8-9 हजार मानदेय देकर सरकार अपमान कर रही है. लाठी-डंडे की सरकार से झारखंडियों का भला नहीं हो सकता. उन्होंने कहा कि 15 नवंबर को मोरहाबादी मैदान जो भी हुआ, उसके लिए मुख्यमंत्री जिम्मेवार हैं.
पारा शिक्षकों की मांगों का समर्थन: बड़कागांव. समान काम के बदले समान वेतन की मांग को लेकर पारा शिक्षकों का आंदोलन उग्र रूप लेता जा रहा है. पारा शिक्षकों के आंदोलन का समर्थन प्रबंधन शिक्षा समिति, छात्र संगठन, मनरेगा कर्मी, टेट पास अभ्यर्थी कर रहे हैं. केंद्रीय राज्य मंत्री जयंत सिन्हा के आवास ऋषभ वाटिका के समक्ष एकीकृत पारा शिक्षक संघ घेरा डालो डेरा डालो अनिश्चितकालीन आंदोलन कर रहे हैं.
आंदोलन में चुरचू प्रखंड के ग्राम आंगों के प्रबंधन शिक्षा समिति के अध्यक्ष नकुल महतो के नेतृत्व में समिति केे लोग धरना में शामिल हुए और पारा शिक्षकों का हौसला बढ़ाया. शिक्षा समिति के अध्यक्ष नकुल महतो ने पारा शिक्षकों को भोजन सामग्री एवं जेल में बंद पारा शिक्षकों की रिहाई के लिए आर्थिक मदद की.
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