सदर अस्पताल गिरिडीह में उपचार के बाद उसे बेहतर इलाज के लिए रांची रेफर कर दिया गया. इधर, मुकेश का शव पोस्टमार्टम और कागजी प्रक्रिया पूर्ण होने के बाद रविवार की दोपहर महेशमरवा गांव पहुंचा. शव आते ही परिजन दहाड़ मारकर रोने लगे. रोने-बिलखने से आसपास का माहौल गमगीन हो गया. रविवार शाम परिजन ने शव का अंतिम संस्कार स्थानीय श्मशान घाट पर किया. बता दें कि शनिवार की शाम महेशमरवा व आसपास के गांवों के लगभग छह युवक पीरटांड़ के खुदीसार गांव अपने रिश्तेदार के घर गृह-प्रवेश कार्यक्रम में शामिल होने जा रहे थे. मुकेश राय और उसका चचेरा भाई विजय कुमार एक ही बाइक पर थे. मुकेश गोवा के एक होटल में काम करता था और छुट्टी में घर आया था. उसकी शादी लगभग दो वर्ष पूर्व हुई थी. उसको एक छोटा बच्चा है.
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