Dhanbad News: सिंदरी के शहरपुरा स्थित शिव मंदिर परिसर में चल रहे आठ दिवसीय श्रीमद्भागवत कथा के चौथे दिन रविवार को प्रवचन में वृंदावन की कथा वाचिका प्रिया किशोरी ने श्रीकृष्ण की बाल लीला और कंश के राक्षसी प्रवृत्ति का प्रसंग सुनाया. उन्होंने कहा कि सत्ता अहंकार में प्रजा का अहित करना ही राक्षसी प्रवृत्ति है. उन्होंने कहा कि भगवान को हानि पहुंचाने के लिए जो कोई भी सोचेगा, उसका हश्र पुतना राक्षसी जैसा होगा. कहा : आज की युवा पीढ़ी अपने धर्म के प्रति विमुख हो रहे हैं. भौतिक सुख क्षणिक है जबकि अध्यात्मिक सुख स्थायी. कथा में यजमान आमोद कुमार सिंह, उनकी पत्नी उषा सिंह, पुत्र अखिलेश सिंह के अलावा रितेश पांडेय, प्रशांत कुमार दूबे, दिनेश सिंह, सोनू गिरि, नकुल सिंह, वनमाली झा आदि मौजूद थे.
डिस्क्लेमर: यह प्रभात खबर समाचार पत्र की ऑटोमेटेड न्यूज फीड है. इसे प्रभात खबर डॉट कॉम की टीम ने संपादित नहीं किया है

