प्रतिनिधि, जसीडीह : बाघमारा स्थित सरस कुंज में रह रही 95 वर्षीय वृद्ध महिला मोलिना बराल का शुक्रवार को निधन हो गया. पिछले पांच दिनों से बीमार चल रहीं मोलिना को सरस कुंज कर्मियों ने अनुमंडल पदाधिकारी के आदेश पर सदर अस्पताल में भर्ती कराया था, जहां इलाज के दौरान उन्होंने अंतिम सांस ली. वह सिर्फ एक वृद्ध महिला नहीं थीं, बल्कि सरस कुंज के बच्चों के लिए ””दादी”” थीं. उनके निधन से सरस कुंज में रहने वाले बच्चों और वहां काम करने वाले कर्मियों की आंखें नम हो गईं. 2015 से सरस कुंज था उनका नया घर मूल रूप से देवघर के कुंडा की रहने वाली मोलिना ने 2015 में घरेलू कलह के चलते महिला थाना में शरण ली थी. उन्होंने अपने घर वापस लौटने से इनकार कर दिया था, जिसके बाद महिला थाना द्वारा उन्हें सरस कुंज भेजा गया. तब से यही उनका घर बन गया था. उनके दो पुत्रों का पहले ही निधन हो चुका था, जबकि दो बेटियां हैं. जीवन के अंतिम पड़ाव में जब उन्हें अपने ही घर से दूर होना पड़ा, तो सरस कुंज ने उन्हें ममता की छांव दी और उन्होंने भी इस नये परिवार को दिल से स्वीकार कर लिया. मोलिना बेहद मिलनसार और शांत स्वभाव की महिला थीं. बच्चों के बीच बैठकर कहानियां सुनाना, त्योहारों पर उनका आशीर्वाद देना और हर एक को नाम से पुकारना ये सब उनकी रोजमर्रा की आदतों में शामिल था. पोते ने किया अंतिम संस्कार निधन की खबर मिलते ही उनका पोता प्रताप बोराल सरस कुंज पहुंचा और दाह संस्कार के लिए उनका शव अपने साथ ले गया. परिवार के बाकी सदस्य भी उनके अंतिम दर्शन के लिए पहुंचे. उनके निधन से सरस कुंज कर्मियों व रह रहे बच्चों के बीच शौक की लहर दौड़ गयी है.
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