छपरा. जिले में तेज गर्मी और लू के चलते आम जनजीवन अस्त-व्यस्त हो गया है. कड़ाके की धूप और लगातार बढ़ते तापमान का सीधा असर स्वास्थ्य पर पड़ता दिख रहा है. सदर अस्पताल के ओपीडी और इमरजेंसी विभाग में मरीजों की संख्या में भारी बढ़ोतरी हुई है.पीलिया, वायरल फीवर, डायरिया, उल्टी और ब्रेन स्ट्रोक जैसे मामलों की संख्या तेजी से बढ़ रही है. गर्मी के कारण सबसे अधिक प्रभावित छोटे बच्चे हो रहे हैं.नउल्टी और डायरिया की शिकायत के साथ बड़ी संख्या में अभिभावक अपने बच्चों को इलाज के लिए अस्पताल ला रहे हैं. शिशु विभाग में प्रतिदिन दर्जनों नये मरीज इलाज के लिए पहुंच रहे है.
बुजुर्गों में बढ़े ब्रेन स्ट्रोक के मामले
तेज गर्मी के कारण बुजुर्गों में ब्रेन स्ट्रोक के मामले भी काफी बढ़ गये हैं. मेडिसिन विभाग में ऐसे मरीजों की संख्या बढ़ने के बाद अस्पताल प्रबंधन ने इमरजेंसी विभाग में अतिरिक्त इंतजाम किये हैं.आइसीयू में बेड की संख्या भी बढ़ा दी गयी है. जिससे गंभीर मरीजों को तत्काल इलाज मिल सके. अस्पताल प्रशासन ने गर्मी के मौसम को देखते हुए अलर्ट जारी कर दिया है. ओपीडी और इमरजेंसी विभाग में आवश्यक दवाओं की उपलब्धता सुनिश्चित की गई है. साथ ही स्वास्थ्य कर्मियों की अतिरिक्त ड्यूटी लगाई गई है ताकि मरीजों को समय पर उपचार मिल सके.
बचाव के लिए दिशा-निर्देश जारी
शिशु विभाग के डॉ संदीप कुमार ने बताया कि इस मौसम में बच्चों को धूप में बाहर निकलने से बचाना चाहिए. विशेषकर स्कूल से लौटते समय बच्चों का सिर ढंका होना जरूरी है.शरीर में पानी की कमी न हो, इसके लिए अधिक मात्रा में पानी, नींबू पानी और तरल पदार्थों का सेवन करना चाहिए. उन्होंने अपील की है कि अत्यधिक गर्मी में घर से बाहर निकलने से बचें, विशेषकर दोपहर के समय. हल्के और सूती कपड़े पहनें, सिर को ढककर रखें और भरपूर पानी पीते रहें.डिस्क्लेमर: यह प्रभात खबर समाचार पत्र की ऑटोमेटेड न्यूज फीड है. इसे प्रभात खबर डॉट कॉम की टीम ने संपादित नहीं किया है