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…नाम खुमारी नानका, चढ़ी रहे दिन-रात
गुरु नानक जयंती : गुरु महाराज के भजनों पर झूमी संगत, भक्तिमय हुआ माहौल पटना सिटी : शताब्दी गुरुपर्व में आनेवाली संगत को को शहर के इतिहास से अवगत कराया जायेगा. पर्याप्त संख्या में खुलनेवाले मे आइ हेल्प यू अर्थात सहायता काउंटर में यह व्यवस्था होगी कि पटना साहिब के इतिहास के साथ-साथ शहर के […]
गुरु नानक जयंती : गुरु महाराज के भजनों पर झूमी संगत, भक्तिमय हुआ माहौल
पटना सिटी : शताब्दी गुरुपर्व में आनेवाली संगत को को शहर के इतिहास से अवगत कराया जायेगा. पर्याप्त संख्या में खुलनेवाले मे आइ हेल्प यू अर्थात सहायता काउंटर में यह व्यवस्था होगी कि पटना साहिब के इतिहास के साथ-साथ शहर के प्रमुख मंदिर, मसजिद व गिरजाघर के बारे में भी अवगत कराया जायेगा. यहां की संस्कृति कैसी है, यह सारी व्यवस्था होगी. शनिवार को प्रमंडलीय आयुक्त आनंद किशोर व जिलाधिकारी संजय कुमार अग्रवाल ने बैठक में स्पष्ट कहा कि प्रमुख मंदिर, मसजिद व गिराजघर की सूची व तख्त साहिब से दूरी का बोर्ड शहर में लगाया जायेगा. साथ ही प्रशासन की ओर से खोले जानेवाले मे आइ हेल्प यू काउंटर पर भी यह व्यवस्था रहेगी. गुरुपर्व में शामिल होने के लिए आनेवाली संगत को बिहार की संस्कृति से अवगत कराने के लिए कला-संस्कृति विभाग ने भी तैयारी की है.
विभाग की ओर से श्री गुरु गोविंद सिंह जी महाराज के जीवन दर्शन व सिख धर्म पर आधारित पुस्तक का प्रकाशन कराने के साथ सिख संगतों को बिहार की संस्कृति से अवगत कराने के लिए सात दिनों तक कार्यक्रम आयोजित करने का निर्णय लिया गया है. यह कार्यक्रम पटना के प्रमुख भवनों भारतीय नृत्य कला मंदिर, रवींद्र भवन, कालीदास रंगालय आदि जगहों पर होगा. साथ ही आर्ट गैलरी में भी गुरु महाराज के जीवन दर्शन से जुड़ी प्रदर्शनी लगायी जायेगी. बताते चलें कि श्री गुरु गोविंद सिंह जी महाराज का 350 वां शताब्दी गुरुपर्व पांच जनवरी, 2017 को तख्त श्री हरमंदिर जी पटना साहिब में मनाया जायेगा.
कवि व कीर्तन दरबार में निहाल हुई संगत
नगर कीर्तन के तख्त श्री हरमंदिर साहिब पहुंचने के बाद सजे शाम को विशेष दीवान में कवि व कीर्तन दरबार का आयोजन किया गया. इसमें हुजूरी रागी जत्था भाई नविंदर सिंह, दरबार साहिब से आये रागी सुखवंत जीत सिंह व भाई परमजीत सिंह हीरा ने कीर्तन से संगत को निहाल कर दिया. इसके बाद कवि दरबार में सरदार हरविंदर सिंह सेवक, सरदार राम सिंह राही व अमरीक कौर खुश ने अपनी प्रस्तुति से संगत को निहाल किया. इससे पहले दरबार में जत्थेदार ज्ञानी इकबाल सिंह ने गुरु महाराज के जीवन दर्शन पर कथा कही. नगर कीर्तन में भक्तों के बीच प्रो लाल मोहर उपाध्याय की लिखित पुस्तिका कलि तारण गुरु नानक आया का वितरण किया गया.
स्कूली बच्चों ने िनकाला मार्च पास्ट
नगर कीर्तन में स्कूली बच्चों के मार्च पास्ट और शबद कीर्तन करते महिलाओं और पुरुषों के जत्थों से माहौल भक्तिमय बन गया था. वहीं, नगर कीर्तन के बीच में फूलों से सजे रथ पर गुरु ग्रंथ साहिब की सवारी चल रही थी, जिसकी सेवा जत्थेदार ज्ञानी इकबाल सिंह दे रहे थे, जबकि सवारी के आगे श्रद्धालु संगत सड़क पर पानी छिड़काव करते, झाड़ू लगाते और पुष्प की बरसा करते हुए चल रहे थे.
नगर कीर्तन में प्रबंधक कमेटी के पदधारको के साथ सरदार प्रेम सिंह, इंद्रजीत सिंह बग्गा, महाकांत राय, राम रत्न सिंह अकेला, प्रो लाल मोहर उपाध्याय,अवतार सिंह, दलजीत सिंह, दिलीप पटेल आदि शामिल थे.
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