डिस्पैच सेंटर से इवीएम और वीवीपैट मशीन लेकर सुरक्षाबलों के साथ कर्मी रवाना हुए
10 प्रतिशत चुनाव कर्मियों को रखा गया है रिजर्वप्रतिनिधि, नवादा कार्यालय
नवादा जिले के सभी पांच विधानसभा क्षेत्रों में चुनाव प्रक्रिया को संपन्न कराने के लिए चुनाव कर्मी पूरी तरह से तैयार होकर बूथ पर पहुंच गये हैं. जिले में इसके लिए पांच डिस्पैच सेंटर बनाये गये थे. सभी विधानसभा क्षेत्र में डिस्पैच सेंटर से चुनाव सामग्री के साथ इवीएम और वीवीपैट मशीन लेकर सुरक्षाबलों के साथ चुनाव कर्मी रवाना हुए. नवादा जिला मुख्यालय में गांधी इंटर स्कूल से नवादा विधानसभा क्षेत्र का और कन्हाई इंटर स्कूल से गोविंदपुर विधानसभा क्षेत्र के लिए इवीएम आदि का वितरण किया गया. इस दौरान प्रशासन के सभी आला अधिकारी मौजूद रहे. बता दें कि नवादा जिले के पांच विधानसभा क्षेत्रों में कुल 2169 बूथ बनाये गये हैं. प्रत्येक बूथ पर पीठासीन पदाधिकारी के साथ तीन सहयोगी चुनाव कर्मियों की तैनाती की गयी है. चुनाव के दौरान किसी प्रकार की गड़बड़ी नहीं हो, इसको लेकर 10% चुनाव कर्मियों को रिजर्व में रखा गया है.गांधी इंटर स्कूल में दिखी उत्सव का माहौल
नवादा विधानसभा के लिए इवीएम और अन्य चुनाव सामग्री का वितरण गांधी इंटर स्कूल में बनाये गये डिस्पैच सेंटर से की गयी. नवादा विधानसभा में कुल 458 मतदान केंद्र हैं. जहां से मतदानकर्मियों को सुरक्षाबलों के साथ चुनाव कराने के लिए रवाना किया गया. इसके अलावा अन्य सभी डिस्पैच सेंटरों से कुल 2169 मतदान केंद्रों के लिए कुल मिलाकर 8676 मतदान कर्मी रवाना किये गये. इसके अलावा सभी पांच विधानसभा क्षेत्रों में अतिरिक्त रूप से 10% मतदान कर्मियों को रिजर्व के रूप में रखा गया है.नवादा विधानसभा क्षेत्र के लगभग सभी बूथ पर अर्धसैनिक बलों के जवानों को भी तैनात किया गया है. जो शांतिपूर्ण और भयमुक्त वातावरण में चुनाव संपन्न कराने को लेकर अपनी अहम भूमिका निभायेंगे.सबसे पहले कराया जायेगा मॉक पोल
सभी चुनाव कर्मियों को निर्देश दिया गया है कि सुबह 7:00 बजे मतदान की प्रक्रिया शुरू करने के पहले ही प्रत्याशियों के पोलिंग एजेंट की उपस्थिति में बूथ पर मॉक पोल की प्रक्रिया पूरी कर लेनी है. मशीन आदि सेट करके सभी उपस्थित विभिन्न पार्टियों के पोलिंग एजेंट के सामने इवीएम की टेस्टिंग करके दिखानी है.वोट प्रतिशत बढ़ने के हैं असर
विधानसभा चुनाव के पहले चरण में जिस प्रकार से बंपर वोटिंग हुई है, उसका प्रभाव दूसरे चरण के चुनाव में भी देखने को मिल सकता है. जिला प्रशासन की ओर से स्वीप कार्यक्रम के तहत लगातार जागरूकता के कार्यक्रम किये गये हैं. इसके अलावा महिलाओं की जागरूकता, एसएआइआर के तहत वोटर लिस्ट में सुधार आदि के कारण भी वोटिंग प्रतिशत बढ़ाने के पूरे आसार हैं. जानकारी हो कि वर्ष 2020 के विधानसभा चुनाव में पूरे जिला में महज 50% मतदान हुआ था. जिसमें सबसे कम मतदान वारसलीगंज विधानसभा क्षेत्र में 48.42%, इसके अलावा रजौली में 50.10%, हिसुआ विधानसभा में 50.22 प्रतिशत, नवादा विधानसभा में 50.82%, गोविंदपुर विधानसभा में 50.44 प्रतिशत वोटिंग हुई थी. इस बार निश्चित तौर से यह मतदान प्रतिशत काफी आगे जाने की संभावना है.एक घंटा बढ़ाया गया है मतदान का समय
विधानसभा चुनाव के लिए पहली बार एक घंटे का अतिरिक्त समय बढ़ाया गया है. नवादा, हिसुआ और वारसलीगंज विधानसभा क्षेत्रों में वोटिंग की प्रक्रिया सुबह सात से शाम 6:00 तक और रजौली और गोविंदपुर विधानसभा में वोटिंग सुबह 7:00 से शाम 5:00 बजे तक होगी. इसके पूर्व में शाम पांच और नक्सल प्रभावित क्षेत्रों में शाम 4:00 बजे तक ही वोट डाले जाते थे. इस बार सबसे अच्छी बात यह रही है कि सभी मतदान की प्रक्रिया निर्धारित मतदान केंद्रों पर ही होगी. कहीं अलग से मतदान केंद्र शिफ्ट करके नहीं बनाया गया है. गौरतलब है कि कौआकोल के कई जंगली क्षेत्र की वोटिंग प्रखंड मुख्यालय में होती थी, जिसके कारण वोट का प्रतिशत काफी कम होता था, इस बार उन विधानसभा क्षेत्र के गांव में भी बूथ बनाये गये हैं.
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