::: महापौर निर्मला साहू की अध्यक्षता में नगर निगम बोर्ड की शांतिपूर्ण मीटिंग, विकास कार्यों पर लगी मुहर
::: 180-200 लोगों के बैठ कर मीटिंग करने वाला होगा वातानुकूलित हॉल, नगर निगम के प्रस्तावित विस्तारिक एरिया को लेकर नये भवन के निर्माण का प्रस्ताव
वरीय संवाददाता, मुजफ्फरपुर
एक महीने से चल रही उथल-पुथल व पलटी मार राजनीति के बाद आखिरकार मुजफ्फरपुर नगर निगम की बैठक गुरुवार को शांतिपूर्ण तरीके से संपन्न हुई. महापौर निर्मला साहू की अध्यक्षता में हुई इस बैठक में कई महत्वपूर्ण वित्तीय, प्रशासनिक और विकास से जुड़े प्रस्तावों को मंजूरी दी गई. हालांकि, इस दौरान पार्षद संजय केजरीवाल और उनके समर्थक कई पार्षद बैठक से अनुपस्थित रहे. मीटिंग के दौरान शहर के बढ़ते दायरे को देखते हुए नगर आयुक्त विक्रम विरकर ने एक नया पांच मंजिला प्रशासनिक भवन बनाने का प्रस्ताव पेश किया, जिसपर बोर्ड से मुहर लग गयी है. यह भवन वर्तमान निगम कार्यालय परिसर में ही, ज्यूडिशियरी कॉलोनी से सटी जगह पर बनेगा. 28.29 करोड़ रुपये के इस प्रोजेक्ट के लिए डीपीआर तैयार कर ली गई है और अब इसे तकनीकी मंजूरी और फंड के लिए राज्य सरकार के पास भेजा जायेगा. इस नए भवन में प्रशासनिक कार्यालयों के साथ-साथ 180-200 लोगों की क्षमता वाला एक बड़ा हॉल भी होगा. जहां, आसानी से सशक्त स्थायी समिति व निगम बोर्ड की मीटिंग हो सकती है. पार्षदों के साथ आगंतुकों के लिए वातानुकूलित हॉल बैठने के लिए रहेगा. उप महापौर डॉ मोनालिसा, नगर विधायक विजेंद्र चौधरी, एमएलसी दिनेश प्रसाद सिंह सहित निगम के अधिकारी, इंजीनियर व पार्षद मौजूद थे.खुदीराम बोस चिताभूमि का होगा सौंदर्यीकरण
हाल ही में कोर्ट में खुदीराम बोस चिताभूमि का केस जीतने के बाद नगर निगम ने इस ऐतिहासिक स्थल का सौंदर्यीकरण कराने का निर्णय लिया है. बूढ़ी गंडक नदी के किनारे स्थित इस चिताभूमि का विकास बिहार राज्य पुल निर्माण निगम के माध्यम से कराया जायेगा, जिसकी मंजूरी भी बोर्ड बैठक में दे दी गई है. चंदवारा पानी कल कैंपस का भी सौंदर्यीकरण होगा. कचरा प्रबंधन को लेकर कई नये निर्माण भी होंगे. यही नहीं, शहर की सफाई व्यवस्था बेहतर कैसे हो. इसे सुनिश्चित करने के लिए बेहतर कचरा प्रबंधन वाले देश के विभिन्न शहरों का दौरा भी निगम के सफाई से जुड़े अधिकारी व कर्मचारी करेंगे. बोर्ड ने इसकी भी मंजूरी दी है.
आय बढ़ाने के लिए नई विज्ञापन नीति, दुकानदारों के बोझ को हटाया
नगर निगम ने अपनी आय बढ़ाने के लिए एक नई विज्ञापन पॉलिसी को भी मंजूरी दी है. नये रेट के आधार पर शहर को पांच जोन में बांटकर विज्ञापन शुल्क वसूलने के लिए एक एजेंसी का चयन किया जायेगा. हालांकि, इस पर अंतिम प्रशासनिक कार्रवाई राज्य सरकार की मंजूरी के बाद ही होगी. नयी विज्ञापन पॉलिसी लागू होने के बाद शहरी क्षेत्र में ऐसे लोगों के ऊपर टैक्स का बोझ बढ़ जायेगा, जो आवासीय भवन का निर्माण कर छत के ऊपर या फिर दीवार पर बड़ा-बड़ा बैनर पोस्टर लगा अपनी आमदनी करते हैं. नगर निगम अब इसके लिए अतिरिक्त टैक्स व विज्ञापन शुल्क की वसूली करेगा. हालांकि, महापौर ने शहर के व्यवसायी व दुकानदारों को राहत दी है. दुकान के अलावा किसी कंपनी का बैनर-पोस्टर लगाने पर लगने वाले चार्ज को माफ कर दिया है.
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