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बाबा गरीबनाथ पर चढ़े फूल-बेलपत्र से बनने लगी जैविक खाद

मुजफ्फरपुर : गरीबनाथ मंदिर में बाबा पर चढ़े फूल व बेलपत्रों से बने जैविक खाद के पैकेट का गुरुवार को मंदिर सत्संग भवन में लोकार्पण किया गया. इस मौके पर राजेंद्र प्रसाद कृषि केंद्रीय विश्वविद्यालय के कुलपति डॉ रमेश चंद्र ने कहा कि फूलों व बेलपत्रों से जैविक खाद बनाने का काम विश्वविद्यालय में किया […]

मुजफ्फरपुर : गरीबनाथ मंदिर में बाबा पर चढ़े फूल व बेलपत्रों से बने जैविक खाद के पैकेट का गुरुवार को मंदिर सत्संग भवन में लोकार्पण किया गया. इस मौके पर राजेंद्र प्रसाद कृषि केंद्रीय विश्वविद्यालय के कुलपति डॉ रमेश चंद्र ने कहा कि फूलों व बेलपत्रों से जैविक खाद बनाने का काम विश्वविद्यालय में किया जा रहा है. यह उनका सौभाग्य है कि बाबा पर चढ़े फूलों व बेलपत्र से जैविक खाद बनाने का अवसर मिला है. यह बहुत ही उत्कृष्ट काम है.

यह खाद दो और पांच किलो के पैकेट में उपलब्ध है. यह खाद किसानों के लिए वरदान साबित होगा. मंदिर प्रबंधन की ओर से कुलपति को शिव नामा भेंट कर स्वागत किया गया. सचिव एनके सिन्हा ने इस कार्य के लिए कृषि विश्वविद्यालय का आभार प्रकट किया. संचालन मंदिर के प्रधान पुजारी पं विनय पाठक ने किया.
इस मौके पर मेयर सुरेश कुमार, उपमेयर मानमर्दन शुक्ला, विश्वविद्यालय के कुलसचिव केएम सिंह, प्रो मीरा सिंह, विश्वविद्यालय अनुसंधान निदेशक मिथिलेश कुमार, डॉ केएन सिंह, प्रो शंकर झा, डॉ बीएन प्रसाद, मंदिर न्यास समिति के कोषाध्यक्ष पुरेंद्र प्रसाद, सदस्य सुरेश चाचान मुख्य रूप से मौजूद थे. गरीबनाथ मंदिर में चढ़े फूलों व बेलपत्र से रोज 100 किलो जैविक खाद बनेगा. मंदिर की ओर से फूल व बेलपत्र विश्विवद्यालय को नि:शुल्क उपलब्ध कराया जा रहा है. विश्वविद्यालय के प्रो शंकर झा ने कहा कि मंदिर से रोज करीब 100 किलो चढ़े हुए फूल व बेलपत्र का हमलोग उठाव कर रहे हैं.
खाद बनाने की प्रकिया में इसमें 100 किलो गोबर मिलाया जाता है. फिर केंचुआ छोड़ा जाता है. करीब 100 किलो खाद रोज बनाया जा रहा है. शंकर झा ने कहा कि अबतक मंदिर से मिले फूल व बेलपत्र से छह हजार किलो खाद बनाया जा चुका है. 700 रुपये प्रति क्विंटल के हिसाब से खाद बेची जायेगी.

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