जमुई. जिला मुख्यालय स्थित श्रीकृष्ण सिंह स्टेडियम में शनिवार को हर्षोल्लास के साथ बिहार दिवस मनाया गया. इस अवसर पर डीएम अभिलाष शर्मा ने कहा कि मैं जमुई की जनता का अभिनंदन करती हूं. आज के दिन ही बंगाल से अलग होकर बिहार राज्य बना था. बिहार राज्य के बने हुए 113 वर्ष बीत चुके हैं. जब मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने बिहार की बागडोर संभाली थी, तो उन्होंने बिहार दिवस मनाने का निर्णय लिया. इसलिए आज हम यह दिवस मना रहे हैं. उन्होंने कहा कि बिहार समृद्ध कला संस्कृति, पारंपरिक उद्योग, ऐतिहासिक स्थलों एवं अनेक विविधताओं का राज्य है. उन्होंने कहा कि बिहार ने समाज कल्याण, उद्योग, शिक्षा, स्वास्थ्य, कृषि, राजस्व सभी क्षेत्रों में उत्कृष्टता हासिल किया है. बिहार की धरती भगवान महावीर, बुद्ध व सम्राट अशोक की जननी है. उन्होंने कहा कि बिहार के साथ-साथ जमुई जिला भी निरंतर विकास कर रहा है. आशा है आने वाले समय में और विकास करेगा. उन्होंने कहा कि मुख्यमंत्री ने जमुई के विकास के लिए अपर किऊल जलाशय योजना, बरनार का निर्माण तथा गढ़ी व परमेश्वर धाम का पर्यटन के लिहाज से विकास करने का निर्णय लिया है. जमुई में डिग्री कॉलेज की भी स्थापना की गयी है. शीघ्र ही जमुई में तारामंडल, शूटिंग रेंज, स्पोर्ट्स कंपलेक्स, चिड़ियाघर आदि भी बनाए जाएंगे. उन्होंने कहा कि हमें उम्मीद है कि बिहार के साथ-साथ जमुई जिला नयी पहचान बनाएगा और नयी ऊंचाइयों को हासिल करेगा.
बिहार ने पूरी दुनिया को सिखाया गणतंत्र
डीडीसी सुभाष चंद्र मंडल ने इस अवसर पर कहा कि बिहार का इतिहास काफी गौरवशाली रहा है. पूरी दुनिया में जब गणतंत्र की बात होती है तो उसकी जननी लिच्छवी बिहार में ही है. उन्होंने कहा कि बिहार गौतम बुद्ध, महावीर व सम्राट अशोक की जन्म भूमि है. जब भी राष्ट्रीय प्रतियोगिताओं की बात होती है तो सबसे अधिक लोग बिहार के होते हैं, जो इसमें सफल होते हैं. उन्होंने कहा कि चाहे श्रम की बात हो या वैज्ञानिक बनने की बात बिहार आगे रहता है. उन्होंने कहा कि हमारा दायित्व बनता है कि हम अपने बच्चों को डॉक्टर इंजीनियर नहीं बना सकें, तो कम से कम एक सच्चा इंसान बनाएं, ताकि समाज बेहतर हो सके.
स्वर्णिम इतिहास समेटे है बिहार
जिला लोक शिकायत निवारण पदाधिकारी रामदुलार राम ने कहा कि आज ही के दिन 1912 में बंगाल से अलग होकर बिहार राज्य बना था उसके कुछ समय बाद 13 अप्रैल 1936 को बिहार से अलग होकर उड़ीसा राज्य बना. इसके काफी दिनों बाद 15 नवंबर 2000 को झारखंड बिहार से अलग होकर एक नया राज्य बना. उन्होंने कहा कि इसके बावजूद बिहार का गौरवशाली इतिहास आज भी कायम है. उन्होंने कहा कि बिहार के निर्माण का श्रेय हर्यक वंश के बिंबिसार को जाता है. इसके बाद मगध साम्राज्य अस्तित्व में आया, जिसकी राजधानी राजगीर थी. महावीर, बुद्ध, गुरु गोविंद सिंह, माता सीता, स्वतंत्रता संग्राम सेनानी बाबू कुंवर सिंह, 1974 में संपूर्ण क्रांति का नारा देने वाले जयप्रकाश नारायण जिन्होंने देश की दशा और दिशा बदल दी, इनकी भी जन्मभूमि बिहार ही है. इसके अलावा बिहार में कई तीर्थ हैं, जिसमें गया, बोधगया, पावापुरी, वैशाली, सीतामढ़ी को न केवल जानना चाहिए बल्कि देखना भी चाहिए. उन्होंने कहा कि कला संस्कृति के क्षेत्र में भी बिहार में शारदा सिन्हा, भिखारी ठाकुर, महेंद्र मिश्रा, शैलेंद्र, बिस्मिल्लाह खान आदि कई विभूतियां पैदा हुईं, जिन्हाेंने अपनी प्रतिभा से देश का नाम रोशन किया. उन्होंने कहा कि बिहार अनेक भाषाओं की जननी भी है. शिक्षा में हमारा गौरवशाली इतिहास नालंदा और विक्रमशिला में देखा जा सकता है.बिहार को करना है विकसित
कार्यक्रम काे संबोधित करते हुए जिला पंचायती राज पदाधिकारी वीरेंद्र कुमार ने कहा कि बिहार दिवस के अवसर पर सभी उपस्थित लोगों को मैं बधाई और शुभकामनाएं देता हूं. उन्होंने कहा कि अतीत को जानना चाहिए, उन्होंने कहा कि आपने बिहार गाना भी सुना है यह गौतम बुद्ध, महावीर और सम्राट अशोक की धरती है. पाणिनि आर्यभट्ट यहीं पर हुए. जब बिहार विकसित था तो सारा विश्व इससे काफी पीछे था. बिहार अतीत में भी उन्नत व विकसित था. उन्होंने कहा कि बिहार को एक बार फिर गौरवशाली बनाने के लिए इस बार बिहार दिवस पर थीम दिया गया है उन्नत एवं विकसित बिहार. उन्होंने कहा कि इसका स्पष्ट संदेश है कि बिहार को विकसित करना है. हमें शिक्षा, उद्योग, राजनीतिक स्थिरता के लिए आगे आना है. उन्होंने कहा कि सभी लोग हाथ उठाकर संकल्प लें कि हम विकसित बिहार बना कर रहेंगे. इससे पूर्व सभी अतिथियों ने दीप प्रज्वलित कर कार्यक्रम का शुभारंभ किया. मौके पर सभी जिला स्तरीय पदाधिकारी तथा भारी संख्या में आम जन मौजूद थे.
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