सफलता. पकड़ा गया अपराधी जिले के मोस्ट वांटेट की सूची में था टॉप पर
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शातिर रमेश सहनी गिरफ्तार
सफलता. पकड़ा गया अपराधी जिले के मोस्ट वांटेट की सूची में था टॉप पर सिमरी, विवि, नगर व विशनपुर थाने में आधे दर्जन से अधिक मामले में रहा है आरोपित रंगदारी, हत्या, डकैती, लूटकांड में रहा है शामिल दरभंगा : मखाना व्यवसायी से दस लाख रुपये रंगदारी मांगने मामले में पुलिस ने कुख्यात अपराधी रमेश […]
सिमरी, विवि, नगर व विशनपुर थाने में आधे दर्जन से अधिक मामले में रहा है आरोपित
रंगदारी, हत्या, डकैती, लूटकांड में रहा है शामिल
दरभंगा : मखाना व्यवसायी से दस लाख रुपये रंगदारी मांगने मामले में पुलिस ने कुख्यात अपराधी रमेश सहनी को गिरफ्तार कर बड़ी सफलता हासिल की है. बता दें कि जिले के मोस्ट वांटेड टॉप टेन सूची में वर्तमान में नंबर वन कुख्यात अपराधी रमेश सहनी को मंगलवार की शाम एएसपी दिलनवाज अहमद के नेतृत्व में की गयी छापेमारी में विशनपुर थाना क्षेत्र के मुस्तफापुर स्थित उसके घर से नाटकीय अंदाम में गिरफ्तार किया.
पिछले छह महीने से पुलिस अपराधी रमेश सहनी की तलाश कर रही थी. बता दें कि रमेश व उसके दो अन्य साथियों रौनक सिंह व रौशन ठाकुर के विरुद्ध गुदरी बाजार गुल्लोबारा निवासी मखाना व्यवसायी राजेश कुमार उर्फ बब्लू से दस लाख रुपये की रंगदारी मांगने मामले में नगर थाने में 15 जून 2017 को व्यवसायी रमेश के स्टाफ मुकेश कुमार के आवेदन पर प्राथमिकी दर्ज की गयी थी. दर्ज प्राथमिकी में कहा गया था कि 15 जून को एक अपराधी पल्सर मोटरसाइकिल से व्यवसायी के प्रतिष्ठान पर आकर दस लाख रुपये की रंगदारी के लिये धमकी भरा पत्र दिया. पत्र रौनक सिंह के नाम से लिखा हुआ था. जिसमें दस लाख रुपये रंगदारी नहीं देने पर जान से मार देने की धमकी दी गयी थी.
पत्र में कुंजलाल मदन लाल के मालिक सेठ राजेश कुमार को धमकी दी गयी थी कि अगर रंगदारी का पैसा नहीं दोगे तो विनोद स्वायका का हस्र भुगतना पड़ेगा. वहीं पुलिस को इसकी जानकारी देने पर बेटे अथवा भाई की भी हत्या की धमकी दी गयी थी. मामला दर्ज होने के बाद एसएसपी सत्य वीर सिंह इसे गंभीरता से लिये. एसएसपी ने एएसपी दिलनवाज अहमद के नेतृत्व में अपराधियों की गिरफ्तारी को लेकर टीम का गठन किया. पुलिस इस मामले में पहले ही रौनक सिंह व रौशन ठाकुर को गिरफ्तार कर चुकी थी. जबकि मामले का मास्टरमाइंड रमेश फरार चल रहा था.
पिछले दो दशक से सिरदर्द बना हुआ
है शातिर अपराधी रमेश सहनी
एएसपी दिलनवाज अहमद ने बताया कि रमेश दो दशक से अपराध की घटना को अंजाम देता आ रहा है. इसके विरूद्ध सिमरी, विशनपुर, नगर व विवि थाने में लूट, हत्या, डकैती के आधे दर्जन से अधिक मामले दर्ज हैं. व्यवसायी से रंगदारी मांगने मामले में नाम सामने आने पर वह भागकर यूपी के गोरखुपुर चला गया था. वहां से लौटने की गुप्त सूचना मिलने पर मंगलवार की शाम सादे लिवास में उसके घर की घेराबंदी कर गिरफ्तार किया गया. छापेमारी में नगर थानाध्यक्ष सीताराम प्रसाद, बेंता ओपी अध्यक्ष रुपक कुमार अंबुज, पुअनि महादेव कामत, कोतवाली ओपी अध्यक्ष महेश्वर कुमार मिश्र, विशनपुर थानाध्यक्ष अजय कुमार भारती आदि शामिल थे.
व्यवसायी विनोद स्वायका हत्याकांड
में भी रहा है आरोपित
विशनपुर थाना क्षेत्र के मुस्तफापुर निवासी रमेश सहनी का अपराध से पुराना नाता रहा है. रमेश पहले अपराधियों के लिये लाइनर का काम करता था. इसके बाद वह खुद अपराध की घटना को अंजाम देने लगा. बाजार समिति में मजदूरी करने के कारण रमेश व्यवसायियों की हर गतिविधि को जानता था. बाजार समिति से लौटने के क्रम में उसने व्यवसायियों को निशाना बनाने लगा. इसका नाम सबसे पहले वर्ष 1998 में सिमरी थाना में डकैती कांड संख्या 34/1998 में आया. इसके बाद इसी थाना में डकैती कांड संख्या 138/2002, विशनपुर थाना में कांड संख्या 67/2012, नगर थाना कांड संख्या 35/2016 व 94/2017, विवि थाना कांड संख्या 187/2016 दर्ज है.
बता दें कि आठ अगस्त 2016 को रमेश सहनी गैंग ने लूट के दौरान बंगलागढ़ निवासी व्यवसायी विनोद स्वायका को गोली मार दी थी. करीब चार दिन जीवन और मौत से जूझने के बाद व्यवसायी ने दम तोड़ दिया था. इस मामले में पुलिस ने सीसीटीवी की मदद से रमेश व अन्य साथियों की पहचान की थी. पुलिस ने रमेश को देहरादून से गिरफ्तार किया था. करीब छह महीना पहले जेल से छूटने के बाद रमेश ने अपने साथियों के साथ फिर से अपराध की दुनिया में कदम रखा. मखाना व्यवसायी से रंगदारी मांगने मामले में नाम आने से पहले रमेश सहनी गैंग ने व्यवसायियों को परेशान कर रखा था.
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