औरंगाबाद शहर. व्यवहार न्यायालय औरंगाबाद के स्पेशल पॉक्सो जज लक्ष्मीकांत मिश्रा ने दो वादों में अभियुक्तों को कठोर सजा सुनायी है. स्पेशल पीपी शिवलाल मेहता ने बताया कि माली थाना कांड संख्या -06/24, जीआर -62/24 में सजा की बिंदु पर सुनवाई करते हुए अभियुक्त विमलेश कुमार मिर्जापुर माली को भादंवि धारा-376 (3) और पॉक्सो एक्ट 4(2) में 20 साल की सजा और 30 हजार रुपये जुर्माना लगाया है. भादंवि की धारा 366 ए में सात साल की सजा और 20 हजार रुपये जुर्माना लगाया है तथा भादंवि धारा-363 में पांच साल की सजा और 10 हजार रुपये जुर्माना लगाया है. सभी सजाएं साथ-साथ चलेगी. अभियुक्त को उल्लेखित धाराओं में 25 अप्रैल को दोषी ठहराया गया था. अधिवक्ता सतीश कुमार स्नेही ने बताया कि अभियुक्त पर प्राथमिकी 11 जनवरी 2024 को दर्ज करायी गयी थी, जिसमें कहा गया था कि नाबालिग लड़की बाजार से कुछ समान लाने गयी थी, जो शाम तक नहीं लौटी. दूसरे दिन ग्रामीणों से घटना में अभियुक्त का संलिप्तता पता चला था. अभियुक्त पर आरोप गठन 28 अक्तूबर 2024 को हुई था. वहीं, दूसरे वाद बारुण थाना कांड संख्या -320/23, जीआर -1812/23, में सजा की बिंदु पर सुनवाई करते हुए एकमात्र अभियुक्त मनीष कुमार सिरिस को सजा सुनायी है. स्पेशल पीपी शिवलाल मेहता ने बताया कि अभियुक्त को भादंवि की धारा 376 (3) और पॉक्सो एक्ट में 20 साल की सजा और 30 हजार रुपये जुर्माना लगाया है. भादंवि की धारा 366 ए में सात साल की सजा और 20 हजार रुपये जुर्माना लगाया है. सभी सजाएं साथ-साथ चलेगी. अधिवक्ता सतीश कुमार स्नेही ने बताया कि उल्लेखित धाराओं में अभियुक्त को 25 अप्रैल को दोषी करार दिया गया था. प्राथमिकी में अभियुक्त पर आरोप लगा था कि 23 मई 2023 को अभियुक्त ने नाबालिग लड़की को बहला फुसलाकर अपहरण कर लिया था, जिसको लेकर सूचक ने न्यायालय में परिवाद 539/23 दाखिल किया था. 11/07/23 को प्राथमिकी दर्ज करने के बाद अभियुक्त पर आरोप पत्र 28/11/23 को न्यायालय में प्रस्तुत किया गया था.
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