धर्मशाला : भारत के सीमित ओवरों के कप्तान महेंद्र सिंह धौनी ने आज कहा कि उन्होंने टेस्ट कप्तान विराट कोहली की सलाह का मैदान पर अब ज्यादा इस्तेमाल करना शुरू कर दिया है. धौनी ने न्यूजीलैंड के खिलाफ कल से यहां शुरू हो रही पांच मैचों की वनडे सीरीज की पूर्व संध्या पर कहा, ‘‘मैंने पहले ही कोहली का ज्यादा इस्तेमाल करना शुरू कर दिया है.
अगर आप मैच में देखोगे तो आप देखोगे कि मैं मैदान पर उससे ज्यादा बातचीत करता हूं क्योंकि निश्चित रुप से दो व्यक्ति अलग अलग तरह से ही सोचेंगे. ‘ न्यूजीलैंड के खिलाफ टेस्ट सीरीज में 3 . 0 की जीत के बाद कोहली को सभी प्रारुपों की कप्तानी सौंपने की बातें तेज हो गयी हैं. टीम में अपनी भूमिका के बारे में बात करते हुए धौनी ने कहा कि इसमें ज्यादा बदलाव नहीं हुआ है लेकिन भारतीय क्रिकेट की भविष्य पीढ़ी के मेंटर की अतिरिक्त जिम्मेदारी बढ़ गयी है.
धौनी पहले ही टेस्ट क्रिकेट से संन्यास ले चुके हैं, उन्होंने कहा कि 2004 में पर्दापण करने के बाद क्रिकेटर के तौर पर वे काफी बेहतर हो गये हैं. धौनी ने कहा, ‘‘जब आप टीम के सीनियर सदस्य होते हो तो भूमिका नहीं बदलती, भले ही आप कप्तान हो या फिर उप कप्तान. आपके ऊपर अतिरिक्त जिम्मेदारी होती है. आपको युवाओं से बात करनी होती है, आपको उनका मार्गदर्शन करना होता है. ‘
यह पूछने पर कि उनका मतलब क्या है तो धौनी ने कहा कि एक खिलाड़ी को टीम में किसी भी क्रिकेटर की जगह भरने में समय लगता है. इस करिश्माई विकेटकीपर बल्लेबाज ने कहा, ‘‘आपको निरंतर प्रदर्शन करने वाले खिलाड़ियों को देखना होता है. क्रिकेट में फिनिशिंग सबसे ज्यादा मुश्किल चीज है. एक खिलाडी महज छह महीने या एक साल में फिनिशर नहीं बन सकता. आपको इस जिम्मेदारी का आदी होना होता है, आपसे जिस चीज की जरूरत है, उसे लंबे समय तक करना जारी रखना होता है. ‘
उन्होंने कहा, ‘‘मैं व्यक्तिगत रुप से महसूस करता हूं कि एक फिनिशर वो है जो पांचवें या छठे नंबर पर बल्लेबाजी करता है. इस स्थान पर आना और मौके को भुनाकर इस स्थान को भरना काफी मुश्किल है क्योंकि ऐसा भी समय होगा जब आपको मौका नहीं मिले क्योंकि शीर्ष क्रम ने काफी रन जुटा लिये. ‘