मध्य प्रदेश उपचुनाव (Madhya Pradesh,By Election) पर सबकी नजर टिकी हुई है. यहां होने वाले 28 विधानसभा सीटों में यूं तो मुख्य मुकाबला भाजपा (BJP) और कांग्रेस (Congress) के बीच है लेकिन मायावती की पार्टी बसपा (BSP) को कम आंकना गलती हो सकती है. जी हां…आपने सही सुना. दरअसल सूबे के जिन 28 विधानसभा सीटों पर 3 नवंबर को वोट पडना है उनमें से 16 सीटें ग्वालियर चंबल इलाके से आती हैं.
पुराने रिकार्ड पर नजर डालें तो यह ऐसा क्षेत्र है जहां बसपा का अपना वोट बैंक है. इस इलाके की नौ विधानसभा सीटों की बात करें तो इनमें बहुजन समाज पार्टी (बसपा,BSP) के उम्मीदवार पहले जीत का परचम लहरा चुके हैं. यही वजह है कि उपचुनाव के कई क्षेत्रों में मुकाबला त्रिकोणीय नजर आ रहा है. आपको बता दें कि बसपा ने अपने उम्मीदवारों की घोषणा कर दी है.
बसपा 18 उम्मीदवारों की दो सूची जारी कर चुकी है : मध्य प्रदेश के 28 विधानसभा क्षेत्रों में तीन नवंबर को उपचुनाव के लिए मतदान पडेंगे जबकि नतीजे 10 नवंबर को सबके सामने होंगे. लगभग छह महीने पहले सत्ता से बेदखल हो चुकी पार्टी कांग्रेस 24 सीट के लिए अपने उम्मीदवारों की घोषणा कर चुकी है, वहीं भाजपा के उम्मीदवारों का आधिकारिक घोषणा का इंतजार सभी को हैं. इधर बहुजन समाज पार्टी यानी बसपा ने 18 उम्मीदवारों की दो सूची जारी कर चुकी है.
16 सीटें ग्वालियर चंबल इलाके की : सूबे के जिन 28 विधानसभा क्षेत्रों में उपचुनाव होने वाले हैं उनमें से 16 सीटें ग्वालियर चंबल इलाके की हैं. इस इलाके की बात करें तो यहां बसपा का अपना वोट बैंक है. वहीं इस इलाके की नौ विधानसभा सीटें ऐसी हैं जहां बसपा के उम्मीदवार पहले अपने विरोधी को पटखनी दे चुके हैं. इनमें मेहगांव, करैरा, जौरा, सुमावली, मुरैना, दिमनी, अंबाह, भांडेर व अशोकनगर की सीट शामिल है. पिछले विधानसभा चुनाव में भी इन इलाकों में बसपा का वोट प्रतिशत अच्छा था.
बसपा का गढ़ : मध्य प्रदेश में करीब 16 फीसदी अनुसूचित जाति की आबादी है जिसमें सबसे ज्यादा ग्वालियर-चंबल इलाके में निवास करती है. यही वजह है कि इस इलाके को बसपा अपना गढ़ मानती है.
Posted By : Amitabh Kumar