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Explainer: कैसा रहेगा इस हफ्ते का शेयर बाजार, जानें कौन से फैक्टर पूरे सप्ताह रहेंगे हावी

Market Prediction: सोमवार को एक बार फिर से बाजार सुस्त शुरूआत हुई है. विश्लेषकों की राय है कि ब्याज दर पर अमेरिकी केंद्रीय बैंक फेडरल रिजर्व के निर्णय तथा भारतीय कंपनियों के जून तिमाही के नतीजों से इस सप्ताह शेयर बाजारों की दिशा तय होगी.

Market Prediction: पिछले कोराबारी सप्ताह बाजार में जहां तेजी देखने को मिली. वहीं, हफ्ते के अंतिम दिन आईटी और एफएमसीजी के शेयरों में कमजोरी की वजह से सेंसेक्स 1.31 फीसदी और निफ्टी 1.17 फीसदी लुढ़क गया. वहीं, सोमवार को एक बार फिर से बाजार सुस्त शुरूआत हुई है. ICICI बैंक ने अपनी तिमाही की रिपोर्ट जारी कर दी है. बैंक ने शानदार मुनाफा कमाया है. वहीं, बैंक का एनपीए में भी आठ वर्ष के न्यूनतम स्तर पर आ गया है. इसके बाद भी, बैंक के शेंयरों में 0.17 प्रतिशत की गिरावट देखने को मिली है. विश्लेषकों की राय है कि ब्याज दर पर अमेरिकी केंद्रीय बैंक फेडरल रिजर्व के निर्णय तथा भारतीय कंपनियों के जून तिमाही के नतीजों से इस सप्ताह शेयर बाजारों की दिशा तय होगी.

26 जुलाई को अमेरिकी केंद्रीय बैंक ब्याज दर होगा तय

विश्लेषकों का कहना है कि मासिक डेरिवेटिव अनुबंधों के निपटान की वजह से सप्ताह के दौरान बाजार में कुछ उतार-चढ़ाव रह सकता है. इसके अलावा वैश्विक बाजारों के रुझान और विदेशी निवेशकों की गतिविधियां भी बाजार की दृष्टि से महत्वपूर्ण रहेंगी. स्वस्तिका इन्वेस्टमार्ट लि. के शोध प्रमुख संतोष मीणा ने कहा कि 26 जुलाई को अमेरिकी केंद्रीय बैंक ब्याज दर पर अपने निर्णय की घोषणा करेगा. संभावना जताई जा रही है कि फेडरल रिजर्व ब्याज दर में चौथाई प्रतिशत की और वृद्धि कर सकता है. इस घोषणा के दौरान बाजार भागीदारों की निगाह फेडरल रिजर्व की टिप्पणी पर भी रहेगी. इसके अलावा 28 जुलाई को बैंक ऑफ जापान भी अपने नीतिगत फैसले की घोषणा करेगा. मीणा ने बताया कि सप्ताह के दौरान टाटा स्टील, एशियन पेंट्स, एक्सिस बैंक, बजाज फाइनेंस, बीपीसीएल और टेक महिंद्रा जैसी कंपनियां अपने जून तिमाही के नतीजों की घोषणा करेंगी.

रिलायंस की शेयर पर सबकी नजरें

देश की सबसे मूल्यवान कंपनी रिलायंस इंडस्ट्रीज ने शुक्रवार को अपने तिमाही नतीजों की घोषणा की थी. कंपनी का तिमाही लाभ 11 प्रतिशत घटा है. ऐसे में सोमवार को सभी की निगाह रिलायंस के शेयर पर रहेगी. जुलाई के लिए वायदा एवं विकल्प खंड में बृहस्पतिवार को निपटान की वजह से भी बाजार में उतार-चढ़ाव रह सकता है. इसके अलावा बाजार भागीदारों की नजर संसद के मौजूदा मानसून सत्र पर भी रहेगी. उन्होंने कहा कि विदेशी संस्थागत निवेशक पिछले तीन माह से भारतीय बाजार में जमकर निवेश कर रहे हैं. विश्लेषकों का कहना है कि डॉलर के मुकाबले रुपये के उतार-चढ़ाव तथा ब्रेंट कच्चे तेल के दाम भी बाजार की दिशा के लिए महत्वपूर्ण होंगे.

निवेशकों की निगाह एफओएमसी की बैठक पर

जियोजीत फाइनेंशियल सर्विसेज के शोध प्रमुख विनोद नायर ने कहा कि निवेशकों की निगाह एफओएमसी (फेडरल ओपन मार्केट कमेटी) की बैठक पर रहेगी. बैठक में ब्याज दर में 25 प्रतिशत की वृद्धि का अनुमान लगाया जा रहा है. इसके अलावा निवेशक भविष्य में ब्याज दर को लेकर रुख के लिए एफओएमसी की टिप्पणियों पर भी नजर रखेंगे. मास्टर कैपिटल सर्विसेज के वरिष्ठ उपाध्यक्ष अरविंदर सिंह नंदा ने कहा कि बाजार कंपनियों के पहली तिमाही के नतीजों, वैश्विक बाजारों के रुख, कच्चे तेल के दाम तथा घरेलू और विदेशी संस्थागत निवेशकों की गतिविधियों से दिशा लेगा.

तिमाही के नतीजों पर होगी नजर

नंदा ने कहा कि सप्ताह के दौरान कंपनियों के तिमाही नतीजों पर बाजार भागीदारों की विशेष नजर रहेगी. सप्ताह के दौरान केनरा बैंक, टाटा स्टील, एशियन पेंट्स, बजाज ऑटो, एलएंडटी, टाटा मोटर्स, एक्सिस बैंक, बीपीसीएल, टेक महिंद्रा और नेस्ले जैसी बड़ी कंपनियों के तिमाही नतीजों की घोषणा होनी है. बीते सप्ताह बीएसई का 30 शेयरों वाला सेंसेक्स 623.36 अंक या 0.94 प्रतिशत के लाभ में रहा। 20 जुलाई यानी बृहस्पतिवार को सेंसेक्स 67,619.17 अंक के अपने सर्वकालिक उच्चस्तर पर पहुंचा था.

शुक्रवार को आईटी के शेयर में दिखी भारी बिकवाली

NSE पर निफ्टी IT इंडेक्स 4 प्रतिशत नीचे बंद हुआ. FMCG इंडेक्स भी 1 प्रतिशत से ज्यादा की गिरावट के साथ क्लोज हुआ है. निफ्टी में टॉप लूजर इंफोसिस का शेयर है, जो 7.7 प्रतिशत टूट गया. HUL का शेयर भी 3.6 प्रतिशत नीचे बंद हुआ है. सेंसेक्स पैक में एसबीआई, लार्सन, इंडियामार्ट इंटर, भारती एयरटेल, आईटीसी, श्रीराम फाइनेंस, कोटक महिंद्रा के शेयर में बढ़त देखी गई. वहीं, इंफोसिस, एचडीएफसी बैंक, पॉलीकैब, टीसीएस, एचयूएल के शेयर गिरावट के साथ कारोबार कर रहे हैं. इसके कारण निवेशकों को 1.9 लाख करोड़ गवाने पड़े.

एनएसई ने एफएंडओ सेगमेंट में छह शेयरों पर प्रतिबंध लगाया

नेशनल स्टॉक एक्सचेंज (एनएसई) ने फ्यूचर एंड ऑपशन (एफएंडओ) खंड में छह शेयरों को व्यापार प्रतिबंध के तहत रखा है. एनएसई के आधिकारिक बयानों के अनुसार, प्रतिबंध लागू किया गया है क्योंकि ये प्रतिभूतियां बाजार-व्यापी स्थिति सीमा (एमडब्ल्यूपीएल) के 95% से अधिक हो गई हैं. प्रतिबंध के तहत स्टॉक F&O प्रतिबंध सूची में शामिल किए गए छह स्टॉक इस प्रकार हैं: 1. डेल्टा कॉर्पोरेशन 2. बलरामपुर चीनी मिल्स लिमिटेड 3. इंडियाबुल्स हाउसिंग फाइनेंस 4. मणप्पुरम फाइनेंस 5. एल एंड टी फाइनेंस होल्डिंग्स 6. पंजाब नेशनल बैंक स्टॉक अभी भी नकदी बाजार में व्यापार के लिए उपलब्ध रहेंगे.

सप्ताह के पहले दिन सुस्त हुआ बाजार

सप्ताह के पहले कारोबारी दिन बाजार में मिले जुले संकेत मिल रहे हैं. GNIFTY सूचकांक करीब 75 प्वाइंट नीचे ट्रेड कर रहा है. वहीं, एशियाई बाजारों में मजबूती देखने को मिल रही है. जबकि, भारतीय बाजार की शुरूआत फ्लैट हुई. सेंसेक्स 58.47 अंक यानी 0.09 फीसदी की गिरावट के साथ 66,625.79 के स्तर पर कारोबार कर रहा है. वहीं निफ्टी 28.40 अंक यानी 0.14 फीसदी की गिरावट के साथ 19,716.70 के स्तर पर कारोबार कर रहा है.

एफपीआई ने जुलाई में अबतक शेयरों में 43,800 करोड़ रुपये डाले

विदेशी पोर्टफोलियो निवेशकों (एफपीआई) का भारतीय शेयर बाजारों के प्रति आकर्षण बना हुआ है. जुलाई में अबतक उन्होंने भारतीय शेयर बाजारों में शुद्ध रूप से 43,800 करोड़ रुपये से अधिक का निवेश किया है. देश की मजबूत वृहद आर्थिक बुनियाद, कंपनियों के बेहतर नतीजों तथा चीन की अर्थव्यवस्था के समक्ष चुनौतियों के बीच एफपीआई भारतीय बाजार में निवेश बढ़ा रहे हैं. डिपॉजिटरी के आंकड़ों से पता चलता है कि इस साल अबतक शेयर बाजारों में एफपीआई का निवेश 1.2 लाख करोड़ रुपये पर पहुंच गया है. बाजार विश्लेषकों का कहना है कि भारतीय बाजारों में एफपीआई का प्रवाह मजबूत और व्यापक बना हुआ है. जियोजीत फाइनेंशियल सर्विसेज के मुख्य निवेश रणनीतिकार वी के विजयकुमार ने कहा कि चिंता की बात सिर्फ बढ़ता मूल्यांकन है। इससे बाजार में एक बड़ा ‘करेक्शन’ आ सकता है.

मॉर्निंगस्टार इंडिया के एसोसिएट निदेशक-प्रबंधक शोध हिमांशु श्रीवास्तव ने कहा कि एफपीआई के सतत प्रवाह से भारतीय शेयर बाजार अपने सर्वकालिक उच्चस्तर पर पहुंच गए है. ऐसे में बीच-बीच में कुछ मुनाफावसूली की संभावना से इनकार नहीं किया जा सकता है. आंकड़ों के अनुसार, एफपीआई मार्च से लगातार भारतीय शेयर बाजारों में निवेश कर रहे हैं. उन्होंने इस महीने 21 जुलाई तक शेयरों में शुद्ध रूप से 43,804 करोड़ रुपये डाले हैं. यह लगातार तीसरा महीना है, जबकि एफपीआई का शेयरों में निवेश का आंकड़ा 40,000 करोड़ रुपये को पार कर गया है. एफपीआई ने मई में शेयरों में 43,838 करोड़ रुपये और जून में 47,148 करोड़ रुपये का निवेश किया था. समीक्षाधीन अवधि में एफपीआई ने शेयरों के अलावा ऋण या बॉन्ड बाजार में भी 2,623 करोड़ रुपये डाले हैं.

सेंसेक्स की शीर्ष 10 में से पांच कंपनियों का बाजार पूंजीकरण 4.23 लाख करोड़ रुपये बढ़ा

सेंसेक्स की शीर्ष 10 में से पांच कंपनियों के बाजार पूंजीकरण (मार्केट कैप) में बीते सप्ताह 4,23,014.4 करोड़ रुपये की बढ़ोतरी हुई. सबसे अधिक लाभ एचडीएफसी बैंक को हुआ. एचडीएफसी बैंक ने अपनी आवास वित्त मूल कंपनी एचडीएफसी का खुद में विलय पूरा किया है. एचडीएफसी बैंक बृहस्पतिवार को बाजार पूंजीकरण के लिहाज से दूसरी सबसे बड़ी कंपनी बन गया. उसने इस मामले में टाटा कंसल्टेंसी सर्विसेज (टीसीएस) को पीछे छोड़ा है. बीते सप्ताह बीएसई का 30 शेयरों वाला सेंसेक्स 623.36 अंक या 0.94 प्रतिशत के लाभ में रहा.

पिछले सप्ताह में जहां एचडीएफसी बैंक, आईसीआईसीआई बैंक, आईटीसी, भारतीय स्टेट बैंक (एसबीआई) और बजाज फाइनेंस के बाजार पूंजीकरण में बढ़ोतरी हुई, वहीं रिलायंस इंडस्ट्रीज, टीसीएस, हिंदुस्तान यूनिलीवर, इन्फोसिस और भारती एयरटेल की बाजार हैसियत घट गई. सप्ताह के दौरान एचडीएफसी बैंक का बाजार पूंजीकरण 3,43,107.78 करोड़ रुपये बढ़कर 12,63,070.52 करोड़ रुपये पर पहुंच गया. एसबीआई का बाजार मूल्यांकन 27,220.07 करोड़ रुपये की बढ़ोतरी के साथ 5,48,819.01 करोड़ रुपये रहा. आईसीआईसीआई बैंक की बाजार हैसियत 24,575.78 करोड़ रुपये बढ़कर 6,97,413.50 करोड़ रुपये हो गई.

आईटीसी का मूल्यांकन में हुई बढ़ोत्तरी

आईटीसी का मूल्यांकन 21,972.81 करोड़ रुपये की बढ़ोतरी के साथ 6,09,924.24 करोड़ रुपये रहा. बजाज फाइनेंस की बाजार हैसियत 6,137.96 करोड़ रुपये की बढ़ोतरी के साथ 4,59,425.99 करोड़ रुपये पर पहुंच गई. इस रुख के उलट रिलायंस इंडस्ट्रीज का बाजार पूंजीकरण 1,37,138.56 करोड़ रुपये घटकर 17,15,895.17 करोड़ रुपये पर आ गया. रिलायंस इंडस्ट्रीज ने अपनी वित्तीय सेवा इकाई रिलायंस स्ट्रैटेजिक इन्वेस्टमेंट्स लि. (आएसआईएल) को अलग करने की घोषणा की है. इस इकाई को जियो फाइनेंशियल सर्विसेज लि. (जेएफएसएल) का नाम दिया गया है.

शेयर बाजार में निवेश कैसे करें

लंबी अवधि में अपनी संपत्ति बढ़ाने के लिए शेयर बाजार में निवेश करना एक फायदेमंद तरीका हो सकता है.आरंभ करने में आपकी सहायता के लिए यहां कुछ चरण दिए गए हैं:

खुद को शिक्षित करें: निवेश शुरू करने से पहले, शेयर बाजार और यह कैसे काम करता है, इसके बारे में खुद को शिक्षित करना महत्वपूर्ण है. बुनियादी वित्तीय शर्तों, निवेश रणनीतियों और इसमें शामिल जोखिमों को समझें. ज्ञान प्राप्त करने में आपकी सहायता के लिए अनेक पुस्तकें, ऑनलाइन पाठ्यक्रम और संसाधन उपलब्ध हैं.

वित्तीय लक्ष्य निर्धारित करें: अपने वित्तीय लक्ष्य और अपने निवेश का उद्देश्य निर्धारित करें. क्या आप सेवानिवृत्ति, घर खरीदने या अपने बच्चे की शिक्षा के लिए बचत कर रहे हैं? स्पष्ट लक्ष्य रखने से आपको सोच-समझकर निवेश निर्णय लेने में मदद मिलेगी.

एक आपातकालीन निधि बनाएं: निवेश करने से पहले, सुनिश्चित करें कि आपके पास एक आपातकालीन निधि है जिसमें तीन से छह महीने के जीवन-यापन के खर्चों को कवर करने के लिए पर्याप्त धन हो. यह अप्रत्याशित वित्तीय असफलताओं की स्थिति में सुरक्षा जाल के रूप में कार्य करेगा.

जोखिम सहनशीलता का आकलन करें: अपने जोखिम सहनशीलता स्तर को समझें. विभिन्न निवेशों में जोखिम के विभिन्न स्तर होते हैं. कुछ लोग उच्च रिटर्न की संभावना के लिए उच्च जोखिम के साथ सहज होते हैं, जबकि अन्य अधिक रूढ़िवादी निवेश पसंद करते हैं.

ब्रोकरेज खाता खोलें: शेयर बाजार में निवेश करने के लिए आपको ब्रोकरेज खाते की आवश्यकता होगी. अपनी आवश्यकताओं के अनुरूप एक ब्रोकरेज फर्म खोजने के लिए विभिन्न ब्रोकरेज फर्मों पर शोध करें और तुलना करें. कम शुल्क, उपयोगकर्ता-अनुकूल प्लेटफ़ॉर्म और अच्छी ग्राहक सेवा की तलाश करें.

विविधीकृत फंड से शुरुआत करें: यदि आप निवेश में नए हैं, तो म्यूचुअल फंड या एक्सचेंज-ट्रेडेड फंड (ईटीएफ) से शुरुआत करने पर विचार करें जो विभिन्न शेयरों में विविधीकरण की पेशकश करते हैं. यह आपके जोखिम को फैलाने में मदद कर सकता है.

कंपनियों पर शोध करें: यदि आप व्यक्तिगत शेयरों में निवेश करने की योजना बना रहे हैं, तो उन कंपनियों पर शोध करें जिनमें आपकी रुचि है. उनके वित्तीय प्रदर्शन, विकास की संभावनाओं, प्रतिस्पर्धी लाभ और उद्योग के रुझान को देखें.

डॉलर-लागत औसत: डॉलर-लागत औसत का उपयोग करने पर विचार करें, जिसमें नियमित रूप से एक निश्चित राशि का निवेश करना शामिल है. यह रणनीति समय के साथ बाजार की अस्थिरता के प्रभाव को कम करने में मदद कर सकती है.

निगरानी और पुनर्संतुलन: अपने निवेश पर नज़र रखें और आवश्यकतानुसार समायोजन करें. अपने वांछित परिसंपत्ति आवंटन को बनाए रखने के लिए समय-समय पर अपने पोर्टफोलियो को पुनर्संतुलित करें.

अनुशासित रहें: शेयर बाज़ार अस्थिर हो सकता है, और भावनाएँ निवेश निर्णयों को प्रभावित कर सकती हैं. अनुशासित रहें और अल्पकालिक बाजार गतिविधियों के आधार पर आवेगपूर्ण विकल्प चुनने से बचें.

पेशेवर सलाह लें: यदि आप निवेश के बारे में अनिश्चित हैं या आपको व्यक्तिगत मार्गदर्शन की आवश्यकता है, तो एक वित्तीय सलाहकार से परामर्श लेने पर विचार करें जो एक उपयुक्त निवेश योजना बनाने में आपकी सहायता कर सके.

डिस्क्लेमर: शेयर बाजार में निवेश करने में जोखिम होता है और रिटर्न की कोई गारंटी नहीं होती है. बाजार में उतार-चढ़ाव के लिए तैयार रहें और अपने वित्तीय लक्ष्यों को प्राप्त करने के लिए दीर्घकालिक दृष्टिकोण पर विचार करें. हमेशा वही पैसा निवेश करें जिसे आप बाजार चक्र से बाहर निकलने के लिए लंबी अवधि के लिए निवेशित छोड़ सकें.

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