20.1 C
Ranchi

लेटेस्ट वीडियो

एसआइआर से पहले दो हजार बूथों पर बीएलओ को बदलने की तैयारी

नियमों का उल्लंघन करने के आरोप के बाद चुनाव आयोग ने बरती सख्ती

नियमों का उल्लंघन करने के आरोप के बाद चुनाव आयोग ने बरती सख्ती

कोलकाता. राज्य के विभिन्न जिलों में बीएलओ नियुक्ति के मानदंडों के संबंध में भारत निर्वाचन आयोग (ईसीआइ) के निर्देशों के गंभीर उल्लंघन के बाद दो हजार से अधिक बूथों में बूथ स्तर के अधिकारियों को जल्द ही बदला जा सकता है. मुख्य निर्वाचन अधिकारी (सीईओ) के कार्यालय के सूत्राें से मिली जानकारी के अनुसार, संबंधित जिला मजिस्ट्रेट, जो संबंधित जिलों के जिला निर्वाचन अधिकारी भी हैं, जहां इन 2,000 बूथों की पहचान की गयी है, को पहले ही सीईओ कार्यालय द्वारा विसंगतियों पर विस्तृत रिपोर्ट प्रस्तुत करने का निर्देश दिया गया है.

सूत्रों के मुताबिक, एक बार जिला मजिस्ट्रेटों से व्यक्तिगत रिपोर्ट उपलब्ध हो जाने के बाद, अनियमित नियुक्तियों को बदलने की प्रक्रिया बीएलओ नियुक्तियों पर ईसीआइ द्वारा निर्धारित दिशा-निर्देशों का सख्ती से पालन करते हुए शुरू हो जायेगी. बताया गया है कि किसी भी परिस्थिति में, राज्य में चुनाव आयोग द्वारा प्रस्तावित विशेष गहन पुनरीक्षण (एसआइआर) की शुरुआत से पहले रिप्लेसमेंट प्रक्रिया पूरी कर ली जायेगी. निर्वाचन आयोग के दिशानिर्देशों के मुताबिक, बीएलओ नियुक्तियों के लिए एक पैटर्न होना चाहिए, जो सभी भारतीय राज्यों के लिए एक समान हो.

जानकारी के अनुसार, सबसे पहले, ग्रुप-सी या उससे ऊपर की श्रेणी में स्थायी राज्य सरकार के कर्मचारियों और राज्य द्वारा संचालित स्कूलों में शिक्षण कर्मचारियों को बीएलओ के रूप में नियुक्त करने पर विचार किया जाना चाहिए. यदि ग्रुप-सी श्रेणी में पर्याप्त संख्या में स्थायी राज्य सरकार के कर्मचारी और राज्य द्वारा संचालित स्कूलों में शिक्षक उपलब्ध नहीं हैं, तो केवल तभी, संविदा कर्मचारियों को बीएलओ के रूप में नियुक्त करने पर विचार किया जा सकता है. सीईओ कार्यालय के सूत्रों के अनुसार, बीएलओ के रूप में संविदा कर्मचारियों की प्रत्येक नियुक्ति को जिला स्तर से उचित ठहराया जाना चाहिए और इसके लिए सीईओ कार्यालय से सहमति प्रदान की जानी चाहिए. हालांकि, हाल ही में, यह सीईओ कार्यालय के संज्ञान में आया है कि कई जिलों में लगभग 2,000 बूथों पर, राज्य सरकार के स्थायी कर्मचारियों या राज्य द्वारा संचालित स्कूलों में शिक्षकों की उपलब्धता के बावजूद संविदा पर राज्य सरकार के कर्मचारियों की नियुक्तियां की गयी हैं. बताया गया है कि साथ ये सभी अनियमित नियुक्तियां सीईओ कार्यालय की सहमति के बिना की गयीं. हाल ही में, राज्य के सीईओ मनोज कुमार अग्रवाल ने राज्य शिक्षा विभाग को एक पत्र लिख कर शिकायत की थी कि सरकारी स्कूलों में शिक्षण कर्मचारियों का एक वर्ग बीएलओ ड्यूटी स्वीकार करने में आनाकानी कर रहा है.

डिस्क्लेमर: यह प्रभात खबर समाचार पत्र की ऑटोमेटेड न्यूज फीड है. इसे प्रभात खबर डॉट कॉम की टीम ने संपादित नहीं किया है

Prabhat Khabar App :

देश, एजुकेशन, मनोरंजन, बिजनेस अपडेट, धर्म, क्रिकेट, राशिफल की ताजा खबरें पढ़ें यहां. रोजाना की ब्रेकिंग हिंदी न्यूज और लाइव न्यूज कवरेज के लिए डाउनलोड करिए

संबंधित ख़बरें

Trending News

जरूर पढ़ें

वायरल खबरें

ऐप पर पढें
होम आप का शहर
News Snap News Reel