कोलकाता : मुख्यमंत्री ममता बनर्जी ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को पत्र लिखकर ऑर्डनेंस फैक्ट्री बोर्ड सहित सभी ऑर्डनेंस फैक्ट्रियों के निगमीकरण व निजीकरण का विरोध करते हुए इसे पूर्व की स्थिति में बनाये रखने का अनुरोध किया है.
अपने पत्र में मुख्यमंत्री ने लिखा है कि ऐसी रिपोर्ट मिल रही है कि भारत सरकार ऑर्डनेंस फैक्ट्री बोर्ड समेत सभी ऑर्डनेंस फैक्ट्रियों का निजीकरण करने की दिशा में बढ़ रही है. लेकिन ऑर्डनेंस फैक्ट्री बोर्ड जिसका मुख्यालय कोलकाता के आयुध भवन में है, वह हथियार बनाने का विश्व का सबसे बड़ा सरकारी संस्थान है.
मुख्यमंत्री ने लिखा है कि ओएफबी को देशभर में अपने 41 कारखानों, नौ प्रशिक्षण संस्थानों और करीब 1.6 लाख अधिकारियों तथा कर्मचारियों के साथ भारतीय रक्षा तंत्र का चौथा स्तंभ कहा जाता है, जो सशस्त्र बलों के लिए बड़े पैमाने पर हथियार और उपकरण बनाता है. वह यह जानकर हैरान हैं कि देश की रक्षा के इस महत्वपूर्ण स्तंभ पर अचानक गैर-सरकारीकरण पर विचार किया जा रहा है, जिसके लिए इसके हितधारकों से भी चर्चा नहीं की गयी.
ममता ने इस कथित कदम को बेहद संवेदनशील और आवश्यक मुद्दा करार देते हुए देश के सशस्त्र बलों के लिए हथियार और विस्फोटक बनाने वाली ओएफबी के महत्व पर भी बात की. मुख्यमंत्री ने लिखा है कि मिली खबरों में यह भी कहा गया है कि इससे अंतत: इन कीमती राष्ट्रीय संपत्तियों के निजीकरण को बढ़ावा मिलेगा.
उन्होंने कहा कि पश्चिम बंगाल सरकार को यह जानकारी नहीं मिली है कि भारत सरकार ने यह कदम क्यों उठाया. उन्होंने कहा कि इसलिए, वह उनसे (प्रधानमंत्री) अनुरोध करती हैं कि देश की राष्ट्रीय सुरक्षा और रक्षा हित में निगमीकरण और निजीकरण की इस प्रक्रिया को रोकें और इसे पहले जैसा ही रहने दें.