Prayagraj: प्रयागराज के चर्चित उमेश पाल हत्याकांड में नामजद अतीक अहमद की याचिका पर शुक्रवार को सुप्रीम कोर्ट में सुनवाई होगी. हत्याकांड के बाद यूपी पुलिस की कार्रवाई और नेताओं के बयानों के बाद अतीक अहमद ने सुप्रीम कोर्ट में याचिका दायर की है.
उमेश पाल हत्याकांड को लेकर इस याचिका में अतीक अहमद ने कहा है उसे सेंट्रल जेल अहमदाबाद से उत्तर प्रदेश की किसी जेल में शिफ्ट नहीं किया जाए. उसे आशंका है कि इस दौरान किसी फर्जी मुठभेड़ में उसकी हत्या हो सकती है. अतीक के वकील केएस हनीफ ने सुप्रीम कोर्ट के मुख्य न्यायाधीश डीवाई चंद्रचूड़ की अध्यक्षता वाली पीठ के समक्ष अतीक अहमद की याचिका को रखा. जिस पर सुप्रीम कोर्ट में शुक्रवार को सुनवाई होगी.
अतीक के वकील ने कहा है कि याचिकाकर्ता को ट्रांजिट रिमांड के लिए यूपी पुलिस के हवाले नहीं किया जाए. उन्हें गुजरात से यूपी लाने की इजाजत नहीं दी जानी चाहिए. अतीक के वकील ने कहा कि उन्हें यकीन है कि ऐसा होने पर बीच रास्ते में उनकी गाड़ी पलटायी जा सकती है, एनकांउटर किया जा सकता है. इसके पीछे उन्होंने मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के सदन में दिए बयान का हवाला दिया है.
अतीक अहमद के वकील ने कहा कि उनसे गुजरात में ही पूछताछ होनी चाहिए. अगर ट्रांजिट रिमांड की जरूरत पड़ती है तो सेंट्रल फोर्स की निगरानी में यह रिमांड मंजूर की जानी चाहिए. किसी भी हालत में सीधे तौर पर यूपी पुलिस के हवाले नहीं किया जाए. अहमदाबाद से यूपी नहीं भेजा जाए.
वकील ने कहा कि अतीक अहमद को यूपी के राजनीतिक परिदृश्य से बाहर करने की साजिश रची जा रही है. हकीकत में अतीक अहमद के पास उमेश पाल हत्याकांड का कोई मकसद नहीं था. इस मामले में उसे और उसके पूरे परिवार को आरोपी बनाया गया है. उन्होंने कहा कि मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने विधानसभा में चर्चा के दौरान माफिया को मिट्टी में मिला देने की बात कही. माफिया का मतलब भले ही अतीक अहमद नहीं हो. लेकिन, उस समय चर्चा अतीक अहमद पर चल रही थी. जब इतने बड़े पद पर बैठा कोई व्यक्ति ऐसी बात कहता है, तो मातहत काम करने वाले अधिकारी उसको जरूर फॉलो करेंगे.
वकील ने कहा कि अतीक अहमद सात साल से जेल में है. पिछले चार साल से वह अहमदाबाद जेल में है. अहमदाबाद जेल के सख्त माहौल के बारे में सभी को पता है. यूपी पुलिस कस्टडी रिमांड मांग सकती है. हम इससे इनकार नहीं कर रहे हैं. हम न्यायिक हिरासत में भी पूरा सहयोग करना चाहते हैं. हमारा कहना है कि अगर अतीक अहमद से पूछताछ की जाए तो वह अहमदाबाद में रहकर ही लिया जाए. पेशी के दौरान गुजरात पुलिस या फिर सीआरपीएफ की सुरक्षा मुहैया कराई जाए.