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रांची : हेमंत ने लगाया आरोप, भूमि अधिग्रहण में संविधान के खिलाफ हो रहा है काम, झामुमो का आज खूंटी दौरा
अगर संविधान को मानना ही नहीं, तो इसे फाड़कर जला दें भूमि अधिग्रहण संशोधन विधेयक को लेकर कोई समझौता नहीं होगा रांची : प्रतिपक्ष के नेता हेमंत सोरेन ने भूमि अधिग्रहण संशोधन विधेयक को लेकर सरकार पर निशाना साधा है. कहा कि संविधान के खिलाफ काम हो रहा है. नरेंद्र मोदी और अमित शाह ने […]
अगर संविधान को मानना ही नहीं, तो इसे फाड़कर जला दें
भूमि अधिग्रहण संशोधन विधेयक को लेकर कोई समझौता नहीं होगा
रांची : प्रतिपक्ष के नेता हेमंत सोरेन ने भूमि अधिग्रहण संशोधन विधेयक को लेकर सरकार पर निशाना साधा है. कहा कि संविधान के खिलाफ काम हो रहा है. नरेंद्र मोदी और अमित शाह ने देश में और रघुवर दास ने राज्य में तमाशा बनाकर रख दिया है. अगर संविधान की बात नहीं माननी है तो मूल संविधान को ही फाड़ कर उसे राष्ट्रपति और राज्यपाल के सामने जला दें.
श्री सोरेन गुरुवार को कांग्रेस भवन में पत्रकारों से बातचीत कर रहे थे. उन्होंने कहा कि सरकार विपक्ष की बात नहीं सुनती है. बिना रायशुमारी के पहले भूमि अधिग्रहण संशोधन बिल विधानसभा से पास करा दिया. फिर उसे असंवैधानिक तरीके से राज्यपाल, केंद्र सरकार व राष्ट्रपति सचिवालय से पास कराकर कानून का रूप दे दिया. हम भूमि अधिग्रहण संशोधन विधेयक को लेकर कोई समझौता नहीं करने वाले हैं.
विधानसभा में भी बहस से पीछे नहीं हटने वाले हैं. लेकिन बहस सशर्त होगी. सरकार पहले इस काले कानून को वापस ले, उसके बाद बहस करे. हम कानून का भी दरवाजा खटखटायेंगे. मौके पर प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष डॉ अजय कुमार, विधायक दल के नेता आलमगीर आलम, राजद के गौतम सागर राणा, भाकपा के केडी सिंह, माले के जनार्दन प्रसाद, माकपा के सुशांतो बनर्जी व झाविमो के खालिद सलील उपस्थित थे.
विधानसभा में भी बहस से पीछे नहीं हटने वाले हैं : सोरेन
पहले बिल वापस हो, तब हो बहस
माॅनसून सत्र में संशोधन विधेयक पर बहस के सवाल पर हेमंत ने कहा कि यह गंभीर मुद्दा है. इस पर विशेष बहस होनी चाहिए. लेकिन पहले बिल वापस हो. उसके बाद बहस हो. इस बिल को सरकार ने लाठी के बल पर लागू किया है. बिना चर्चा के ही सदन में ध्वनिमत से पारित करा दिया.
यदि यह बिल कानून बन गया है और इसका नोटिस जारी हुआ है, बावजूद इसके इसे वापस तो लिया ही जा सकता है. यदि सरकार ऐसा नहीं करती है तो आने वाले समय में सरकार को परिणाम भुगतने के लिए भी तैयार रहना होगा.
बंद की तरह 16 का धरना भी ऐतिहासिक होगा
हेमंत ने कहा कि पांच जुलाई की बंदी में सभी ने समर्थन दिया. इससे यह पूरी तरह सफल रहा. इसके लिए पूरा विपक्ष और आम जनता को धन्यवाद. आंदोलन के अगले चरण में 16 जुलाई को राजभवन के पास महाधरना दिया जायेगा और राज्यपाल को ज्ञापन सौंपा जायेगा. इसकी तैयारी चल रही है. काला कानून को रोकने के लिए सभी लोग मिल कर धरना को सफल बनायें. बंद की तरह यह धरना भी ऐतिहासिक होगा.
इसके बाद भी यदि सरकार ने काला कानून वापस नहीं लिया तो आंदोलन अनवरत जारी रहेगा. उन्होंने कहा कि बंद में गिरफ्तारी का सरकार ने गलत आंकड़ा दिया है. करीब एक लाख समर्थक गिरफ्तार हुए.
विपक्षी एकता से सरकार डरी : डॉ अजय
डॉ अजय कुमार ने कहा कि सरकार विपक्षी एकतासे डर गयी है. बंद पूरी तरह सफल रहा. आगे भी आंदोलन जारी रहेगा. आलमगीर आलम ने कहा, सरकार सिर्फ आश्वासन देती है. कोई काम नहीं करती है. चर्चा के बाद ही बिल को भेजा जाना चाहिए था. केडी सिंह ने कहा, सरकार लोगों से जमीन छीनने के नये नये हथकंडे अपनाती है.
लेकिन इसमें वह सफल नहीं होगी. जनार्दन प्रसाद ने कहा, सरकार को सिर्फ कॉरपोरेट घरानों की चिंता है. जब तक विधेयक रद्द नहीं होता, आंदोलन जारी रहेगा. गौतम सागर राणा ने कहा, कॉरपोरेट और आम जनता के बीच लड़ाई हो रही है. सीएम सिर्फ मुखौटा हैं. हम जनता की लड़ाई लड़ रहे हैं. खालिद सलील ने कहा, हम जनता की लड़ाई पूरी मजबूती के साथ लड़ेंगे.
झामुमो आज खूंटी का दौरा करेगा
श्री सोरेन ने कहा कि झामुमो 7 जुलाई को दिन के 10 बजे खूंटी का दौरा करेगा. वहां की परिस्थितियों का जायजा लिया जायेगा. खूंटी में जिस तरह से बातें आ रही हैं यह मामला अत्यंत गंभीर है.
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