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झारखंड : दुमका में गोड्डा सांसद डॉ निशिकांत दुबे ने साधा निशान, कहा- कोरामिन पर टिकी है हेमंत सरकार

दुमका पहुंचे गोड्डा सांसद डॉ निशिकांत दुबे ने हेमंत सरकार पर जमकर निशाना साधा. कहा कि यह सरकार कोरामिटन पर टिकी है. साथ ही विपक्ष के ईडी-सीबीआई के दुरुपयोग के आरोप पर भी पलटवार किया है. इधर, सांसद डॉ दुबे को मधुपुर उपचुनाव में आदर्श आचार संहिता के मामले में जमानत मिल गयी.

Jharkhand News: दुमका पहुंचे भाजपा के गोड्डा सांसद डॉ निशिकांत दुबे ने हेमंत सरकार पर निशाना साधते हुए कहा है कि सरकार कोरामिन पर टिकी हुई है. सरकार की उलटी गिनती शुरू हो चुकी है. साढ़े तीन वर्षों में कोई धमक सुनाई नहीं दी कि शिबू सोरेन या फिर हेमंत सोरेन, भाई बसंत सोरेन या भाभी सीता सोरेन ने विकास का एक भी काम किया. उनकी एक भी उपलब्धि नहीं है, जिसे वे आज गिना सकेंगे. सांसद ने विपक्षी एकजुटता को लेकर कहा कि भ्रष्टाचारियों का कुनबा तैयार हो रहा है. गठबंधन केवल इसलिए तैयार हो रहा है कि प्रधानमंत्री मोदी ने लूट की छूट नहीं दी है. देश में जितने परिवारवादी पार्टियां हैं, वो एक साथ होकर प्रधानमंत्री को हटाना चाहती है. पर जनता जानती है कि पीएम मोदी ने जो विकास कार्य किया है. वह उनसे पहले किसी ने नहीं किया. जनता उनके साथ है.

ईडी-सीबीआई के दुरुपयोग के आरोप पर किया पलटवार

विपक्ष द्वारा भाजपा पर ईडी-सीबीआई के दुरुपयोग के आरोप पर पलटवार करते हुए कहा कि जब केंद्र में कांग्रेस की मनमोहन सरकार थी तब ईडी-सीबीआई ने मधु कोड़ा, एनोस एक्का और हरिनारायण राय कैसे जेल भेजा. जब ईडी-सीबीआई पैसे पकड़ रही है, तो वे हम पर आरोप लगाते हैं कि ईडी और सीबीआई का दुरुपयोग कर रहे हैं. 2007-08 में राज्य में झामुमो के समर्थन से मधु कोड़ा मुख्यमंत्री थे, तब केंद्र में कांग्रेस के मनमोहन सिंह की सरकार थी. बाद में कोड़ा को हटा कर शिबू सोरेन मुख्यमंत्री बने थे. डॉ दुबे ने कहा कि उस समय भी ईडी-सीबीआई ने कार्रवाई की थी. एनोस एक्का जेल गये थे. मधु कोड़ा और हरिनारायण राय जेल गए थे. तब किस कारण वे जेल भेजे गये थे. डीएमके नेता ए राजा और करुणानिधि की बेटी कनिमोझी को तत्कालीन मनमोहन सरकार ने ही जेल भेजा था. क्या उस वक्त कांग्रेस बदले की भावना से काम कर रही थी.

अदालत में हाजिर हुए डॉ निशिकांत दुबे, एक केस में मिली जमानत

गोड्डा सांसद डॉ निशिकांत दुबे को मधुपुर उपचुनाव में आदर्श आचार संहिता के मामले में गुरुवार को एमपी-एमएल विशेष अदालत एसडीजेएम जितेंद्र राम के न्यायालय से जमानत मिल गयी. न्यायालय ने मधुपुर के बुढ़ई थाना क्षेत्र वर्ष 2021 में पार्टी का झंडा लगाने के विवाद को लेकर धमनी पंचायत के झामुमो पंचायत अध्यक्ष गुलाम महिबुल अजदानी उर्फ सद्दाम खान ने लिखित शिकायत कर मामला दर्ज कराया था.

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क्या है मामला

उन्होंने नौ अप्रैल को लिखित शिकायत कर बताया था कि गांव के ही दो लोगों की सहमति से उनके घर पर अपने पार्टी का झंडा लगा रहा था. इसी दौरान सांसद डॉ निशिकांत दुबे, पूर्व नप अध्यक्ष संजय प्रसाद यादव, ओम प्रकाश राय, सचिन दत्ता एवं पप्पू मंडल समर्थकों के साथ धमनी चौक पहुंच झामुमो का झंडा जबरन उतार दिया. धमकी देते हुए बताया कि केवल भाजपा का ही झंडा लगेगा. मामले में झामुमो पंचायत अध्यक्ष के लिखित शिकायत पर पुलिस ने आदर्श आचार संहिता का मामला दर्ज किया था. वहीं दूसरे मामले में उनका बयान दर्ज हुआ. मामला जसीडीह से जुड़ा था. उनके अधिवक्ता मनोज कुमार साह ने बताया कि वर्ष 2019 के लोकसभा चुनाव के दौरान जसीडीह में सांसद निशिकांत, विधायक नारायण दास व पूर्व जिलाध्यक्ष दिवाकर गुप्ता पर आचार संहिता उल्लंघन का मामला दर्ज था. सभी पर महागठबंधन के प्रत्याशी प्रदीप यादव के खिलाफ आपत्तिजनक बात कहने का आरोप था. इसमें सभी का बयान दर्ज किया गया.

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