जोरी. वशिष्ठ नगर थाना क्षेत्र के काली मंदिर से करैलीबार जानेवाली सड़क स्थित नीलाजन नदी पर पुल निर्माण की अनुशंसा तो हुई, लेकिन पुल का निर्माण दूसरे जगह जोरीखुर्द से कुरसेल पथ पर हो रहा है. इसका ग्रामीण विरोध करते आ रहे हैं. ग्रामीणों की शिकायत पर ग्रामीण विकास विशेष अंचल हजारीबाग की ओर से बनी जांच टीम सोमवार को गांव पहुंची और ग्रामीणों से जानकारी ली. ग्रामीणों ने बताया कि लंबे समय से मांग के बाद मुख्यमंत्री ग्राम सेतु योजना के तहत काली मंदिर से करैलीबार जानेवाली सड़क पर पुल निर्माण की अनुशंसा हुई, लेकिन निर्माण कार्य जोरी खुर्द से कुरसेल जानेवाली पथ पर हो रहा है. करैलीबार में पुल बनने से करीब 19 गांव के लोगो को लाभ मिलता. जहां पुल बनाया जा रहा है, उससे सिर्फ एक गांव कुरसेल को लाभ मिलेगा. ग्रामीण अरुण कुमार यादव ने बताया कि तत्कालीन मंत्री सत्यानंद भोगता ने पुल का शिलान्यास किया था. दूसरे स्थल पर पुल निर्माण शुरू होने से विरोध शुरू हुआ. मौके पर मुखिया डोमन भारती, लखन भारती, हाफिज इरफान, जावेद, अल्ताफ हुसैन, अमित गुप्ता, राजेंद्र कुमार, मनीष कुमार महतो समेत काफी संख्या में महिला-पुरूष ग्रामीण शामिल थे.ग्रामीणों ने आंदोलन की चेतावनी दी है.
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