बगैर अनुमति के पटाखों का कारोबार करने वालों पर होगी कार्रवाई
पटना सिटी : दीपावली में आतिशबाजी के लिए सर्वोच्च न्यायालय ने प्रदूषण कम हो, इसके लिए ग्रीन पटाखा जलाने का निर्देश दे रखा है.स्थिति यह है कि पटना सिटी के बाजारों में ग्रीन पटाखा तो है नहीं, लेकिन परंपरागत पटाखों में चरखी, महताबी, बीड़ी बम, फूलझरी, चटाई बम समेत अन्य पटाखों पर प्रशासन ने नकेल कस दी थी. मौसमी कारोबारियों की ओर से जिला प्रशासन को दिये अस्थायी लाइसेंस के लिए आवेदन में फुटकर दुकानदारों को दीपावली तक पटाखा बेचने की अनुमति जिला प्रशासन की ओर से मिली है. इसमें 95 की सूची अनुमंडल कार्यालय में भेजी गयी है.
वहीं 11 दुकानदारों ने जिला प्रशासन से ही आदेश की प्रति ले ली है. एसडीओ राजेश रौशन ने भी इसकी पुष्टि करते हुए बताया कि अस्थायी लाइसेंस के लिए भेजे गये आवेदन के आलोक में स्वीकृति आयी है. एसडीओ ने स्पष्ट कर दिया है कि अस्थायी लाइसेंस प्राप्त दुकानदार ही कारोबार करेंगे, बगैर अनुमति के कारोबार करने वालों पर कार्रवाई की जायेगी.
दरअसल आतिशबाजी के कारोबार में मौसमी कारोबारी दीपावली के समय लग जाते हैं. खाजेकलां थाना क्षेत्र में पश्चिम दरवाजा से लेकर मच्छरहट्टा तक एक सौ से अधिक ऐसी दुकानें हैं, जहां सालों भर आतिशबाजी का कारोबार होता है. वहीं दीपावली के समय मौसमी कारोबारियों की ओर से सजायी जाने वाली दुकानों की वजह से यह संख्या दो सौ से ढाई सौ तक पहुंच जाती है. कारोबारियों की मानें तो खाजेकलां में स्थित पटाखाें की मंडी बीते 101 वर्षों से भी अधिक समय से कायम है.
दुकानदारों का कहना है कि दीपावली के लिए कारोबार करने के लिए थोक दुकानदारों से आतिशबाजी खरीदी थी. कुछ पुराने स्टॉक भी बीते दो वर्षों के पड़े हैं. कारोबारियों की मानें तो एक हजार लोगों के परिवारों का जीवन यापन कारोबार से होता है.