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धरोहरों को संजोने को निकाला हेरिटेज वॉक
राजगीर : प्राचीन मगध साम्राज्य की राजधानी राजगृह अपने गर्भ में इतिहास के कई अनछुए पहलू को आज भी दबाये हैं, जिससे सरकार व आम जन अनभिज्ञ है. फिर भी राजगीर के गौरवशाली इतिहास का बहुत सारे दस्तावेज, लिपि और विरासत आज हमारे आंखों के सामने विराजमान है, जो उचित देखरेख के अभाव में शून्य […]
राजगीर : प्राचीन मगध साम्राज्य की राजधानी राजगृह अपने गर्भ में इतिहास के कई अनछुए पहलू को आज भी दबाये हैं, जिससे सरकार व आम जन अनभिज्ञ है. फिर भी राजगीर के गौरवशाली इतिहास का बहुत सारे दस्तावेज, लिपि और विरासत आज हमारे आंखों के सामने विराजमान है, जो उचित देखरेख के अभाव में शून्य में विलिन होने के कगार पर पहुंच गया है. जिसे बचाने पूर्णजीवित करने और लोगों के बीच उसका प्रचार-प्रसार करने की आवश्यकता है.
उक्त बातें पर्यटन विभाग भारत सरकार व एवीटीओ के संयुक्त तत्वावधान में निकाले गये हेरिटेज वॉक के दौरान एवीटीओ के संयुक्त तत्वावधान में निकाले गये हेरिटेज वॉक के दौरान एवीटीओ के महासचिव डॉ कौलेश कुमार ने कही. उन्होंने कहा कि राजगीर में पर्यटकों की संख्या और बढ़े पर्यटकों का यहां दो चार दिनों तक ठहराव हो इसके लिए हमें यहां के प्राचीन धरोहर को संजो कर रखने की आवश्यकता है.
पर्यटक उन धरोहरों के देखने हेतु इच्छुक और जिज्ञासु हो इसके लिए उन धरोहरों का प्रचार-प्रसार अति आवश्यक है. राजगीर के प्रसिद्ध होटल गार्गी गौतम रिसोर्ट्स परिसर से सुबह में हेरिटेज वॉक का आयोजन किया गया. जो वेणुवण, वैभारगिरी पर्वत पर अवस्थित बाबा सिद्धनाथ मंदिर, सप्तपर्णी गुफा होते हुए पहाड़ी झील भेलवा डोभ को माना जाता है. आज यह जीर्ण-शीर्ण अवस्था में हैं. इस अवसर पर होटल गार्गी गौतम रिसोर्ट्स के जीएम विकास कुमार ने कहा कि राजगीर में इतिहास के अनमोल धरोहर पड़े हुए हैं. इसे और गहनता से खोज करने की आवश्यकता है.
पर्यटकों के सप्ताह भर ठहराव के लिए धरोहरों का खोज के साथ ही इनका उचित रखरखाव जरूरी है. वहीं डॉ. अनिल कुमार ने कहा कि भेलवा डोभ को भी घोड़ा कटोरा झील की तरह विकसित करने की आवश्यकता है.
इस अवसर पर डॉ जितेंद्र कुमार, गिरजा उपाध्याय, धीरेंद्र उपाध्याय, डॉ अजय कुमार, निरंजन कुमार, परमानंद कुमार, शैलेंद्र कुमार, देव कुमार, प्रदूमन कुमार, रामप्रवेश, संटू कुमार, भेला, मिथलेश कुमार, धीरेंद्र कुमार सहित अन्य उपस्थित थे. हेरिटेज वॉक में शामिल लोगों के स्वागत व रिफ्रेशमेंट की भी व्यवस्था की गयी थी. वहीं श्वेतांबर जैन धर्मशाला के प्रबंधक संजीव कुमार के द्वारा वैभारगिरी पर्वत के ऊपर पेयजल, नाश्ता, चाय के साथ थके या अचानक से बीमार या घटना-दुर्घटना का शिकार हो जाने की स्थिति में डोली की व्यवस्था की गयी है. इस अवसर पर राजगीर थाना के द्वारा सुरक्षा का बेहतर प्रबंध किया गया था.
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