राष्ट्रगान के 150 वर्ष पूर्ण होने पर हुआ आयोजन दरभंगा. कामेश्वर सिंह दरभंगा संस्कृत विश्वविद्यालय के राष्ट्रीय सेवा योजना स्नातकोत्तर इकाई के तत्वावधान में राष्ट्रगीत ‘वंदे मातरम’ के 150 वर्ष पूर्ण होने के उपलक्ष्य में सामूहिक गान कार्यक्रम का आयोजन किया गया. विश्वविद्यालय के शिक्षकों, कर्मचारियों एवं छात्र-छात्राओं ने ‘वंदे मातरम्’ गीत का गायन किया. मौके पर ज्योतिष विभागाध्यक्ष डॉ कुणाल कुमार झा ने कहा कि यह गीत राष्ट्रभक्ति और मातृभूमि के प्रति समर्पण का प्रतीक है. व्याकरण तथा साहित्य विभागाध्यक्ष प्रो. दयानाथ झा ने कहा कि अंग्रेजी शासन में इस गीत पर प्रतिबंध लगा था, किंतु आज यह हमारे स्वाभिमान का प्रतीक है. धर्मशास्त्र विभागाध्यक्ष प्रो. दिलीप कुमार झा ने कहा कि वंदे मातरम भारतीय संस्कृति की आत्मा का स्वर है. विश्वविद्यालय के पीआरओ डॉ निशिकान्त सिंह ने बताया कि कार्यक्रम में दर्शन विभागाध्यक्ष डॉ धीरज कुमार पाण्डेय, दर्शन संकायाध्यक्ष डॉ शंभू शरण तिवारी, डॉ एल सविता आर्या, डॉ वरुण कुमार झा, डॉ धर्मवीर, डॉ देवहूति, डॉ माया कुमारी, अमरनाथ तिवारी, संतन कुमार अजय कुमार राजेश कुमार, नेहा कुमारी एवं गोविन्द आदि शामिल थे.
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