दरभंगा.
दो दिन मनायी गयी होली के दौरान डीएमसीएच के आपातकालीन विभाग में लगातार मरीजों के आवक के कारण अफरातफरी की स्थिति रही. जानकारी के अनुसार 14 व 15 मार्च को इमरजेंसी में कुल 560 मरीज पहुंचे. दोनों दिन 288- 280 मरीजों का रजिस्ट्रेशन के बाद उपचार किया गया. गंभीर स्थिति में पहुंचे करीब आधा दर्जन मरीजों की मौत हो गयी. कई परिजन विभागीय प्रक्रिया पूरी किये बिना ही अस्पताल से शव लेकर चले गये. आपातकालीन विभाग के 20 बेडों पर 24 घंटे मरीजों का उपचार किया गया. 14 मार्च को की रात आठ बजे से मरीजों की संख्या बढ़ने लगी. सुरक्षा के मद्देनजर चिकित्सकों ने उपाधीक्षक डॉ सुरेन्द्र कुमार को जानकारी दी. फिर अन्य विभागों से 14 गार्ड को आपातकालीन विभाग में तैनात किया गया. मरीजों की संख्या अधिक होने पर क्रिटिकल केयर यूनिट के भी सभी 30 बेडों पर मरीजों का इलाज किया गया. इस प्रकार विभाग के कुल 50 बेडों पर दिन- रात मरीजों का इलाज चलता रहा. कर्मियों की मानें तो विभाग में ऐसी स्थिति पहली बार नजर आयी.सामान्य दिनों में पहुंचते करीब 150 मरीज
जानकारी के अनुसार सामान्य दिनों में आपातकालीन विभाग में तीनों शिफ्टों में करीब 150 मरीज इलाज के लिये पहुंचते हैं. होली को लेकर विभाग में इलाजरत मरीजों की संख्या में काफी बढ़ोतरी हो गयी.
पूरी तरह चौकस रहा अस्पताल प्रशासन
होली को लेकर अस्पताल प्रशासन पूरी तरह चौकस था. खासकर उपाधीक्षक डॉ सुरेन्द्र कुमार लगातार फोन से चिकित्सक व कर्मियों से बातचीत कर अपडेट ले रहे थे. संबंधित विभागों में फोन कर डॉक्टर की उपस्थिति की जानकारी ली जाती रही. 14 मार्च को रात ऑक्सीजन मास्क की कमी होने पर उपाधीक्षक ने स्टोर से माक्स उपलब्ध कराया.
अलर्ट पर थे चिकित्सक व कर्मी
डीएमसीएच प्रशासन की ओर से होली को लेकर पहले से ही चिकित्सक व कर्मियों को अलर्ट कर दिया गया था. आपातकालीन विभाग में मेडिसिन, सर्जरी, ऑर्थो, आइ, ईएनटी विभाग के चिकित्सक व स्टॉफ को रोस्टर के अनुसार ड्यूटी पर तैनात रहने को कहा गया था. रोस्टर का लिस्ट जिला प्रशासन को भी भेज दिया गया था. जानकारी के अनुसार तीनों पालियों में चिकित्सक व कर्मी ड्यूटी पर मुस्तैद थे.
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