पटना. शिक्षा विभाग का मानना है कि स्कूल व कोचिंग खोलने का निर्णय अकेले एक विभाग का नहीं है. इस मामले में राज्य क्राइसिस मैनेजमेंट ग्रुप को निर्णय लेना है.
इसके बाद ही शिक्षा विभाग स्कूल खोलने का निर्णय लेगा. शिक्षा विभाग के प्रधान सचिव संजय कुमार ने शिक्षा मंत्री को इस ग्रुप की बैठक बुलाने का आग्रह किया है.
दरअसल, इस साल अब तक स्कूल व कोचिंग खोले नहीं जा सके हैं. परीक्षाओं का आगामी सत्र शुरू होने वाला है. कक्षा एक से नौ तक की पिछले साल की परीक्षाएं भी नहीं हो सकी हैं.
कक्षा एक से आठ तक के स्कूल बंद हैं. यही नहीं, उच्च कक्षाओं के सिलेबस को पूरा कराने की चुनौती भी है, लेकिन शिक्षा विभाग बच्चों के हक में हुई जोखिम लेने को तैयार नहीं है.
वह चाहता है कि स्कूल और कोचिंग खोलने का निर्णय सभी विभागों की सहमति से ही लिया जाये. लिहाजा प्रधान सचिव ने प्रस्ताव भेजा है. अब शिक्षा मंत्री को क्राइसिस मैनेजमेंट ग्रुप की बैठक बुलानी है.
प्राथमिक शिक्षक नियोजन की प्रक्रिया हाइकोर्ट के लिखित आदेश तक रुकी रहेगी. शिक्षा विभाग इस मामले में वेट एवं वॉच की स्थिति में है. शिक्षा विभाग के प्रधान सचिव की तरफ से इस मामले में साफ कर दिया गया है कि कोर्ट के फैसले का इंतजार करना होगा.
उल्लेखनीय है कि प्राथमिक शिक्षक नियोजन से जुड़ी दो याचिकाओं मसलन डीएलएड प्राथमिकता व एक अन्य मामले में अभी अंतिम फैसला आना अभी बाकी है.
Posted by Ashish Jha