10.1 C
Ranchi

BREAKING NEWS

Advertisement

UPSC NDA Exam 2021: अब लड़कियां दे सकेंगी एनडीए की परीक्षा, सुप्रीम कोर्ट ने देश की बेटियों को दिलवाया अधिकार

सुप्रीम कोर्ट ने बुधवार को एक अंतरिम आदेश पारित किया जिसमें महिलाओं को 5 सितंबर को होने वाली राष्ट्रीय रक्षा अकादमी में प्रवेश परीक्षा में शामिल होने की अनुमति दी गई

सुप्रीम कोर्ट ने बुधवार को भारतीय सेना को फटकार लगाई, क्योंकि उसने महिला उम्मीदवारों को राष्ट्रीय रक्षा अकादमी (एनडीए) परीक्षा में बैठने की अनुमति दी थी. सुनवाई के दौरान सेना ने अपना पक्ष रखते हुए कहा कि यह एक नीतिगत निर्णय है, जिस पर जस्टिस संजय किशन कौल और हृषिकेश रॉय की खंडपीठ ने कहा कि महिलाओं को परीक्षा में शामिल नहीं होने देने का सेना का नीतिगत फैसला ‘लैंगिक भेदभाव’ पर आधारित है. सुप्रीम कोर्ट ने बुधवार को एक ऐतिहासिक फैसले में महिलाओं को इस साल 5 सितंबर को होने वाली राष्ट्रीय रक्षा अकादमी (एनडीए) की परीक्षा देने की अनुमति दी है.

न्यायमूर्ति संजय किशन कौल और न्यायमूर्ति हृषिकेश रॉय की पीठ ने कहा कि दाखिले अदालत के अंतिम आदेशों के अधीन होंगे. जब देश के सशस्त्र बलों में पुरुषों और महिलाओं के लिए समान सेवा के अवसरों की बात आती है, तो अदालत ने “माइंडसेट प्रॉबलम” को खारिज कर दिया, और सरकार को चेतावनी दी कि “आप बेहतर बदलाव करें”. अदालत ने यह भी आशा व्यक्त की कि आज का अंतरिम आदेश सेना को न्यायपालिका के निर्देश के कारण ऐसा करने के लिए मजबूर करने के बजाय अपने स्वयं के समझौते में बदलाव शुरू करने के लिए राजी करेगा.

याचिकाकर्ता ने कही ये बात

याचिका में कहा गया है कि 10+2 स्तर की शिक्षा रखने वाली पात्र महिला अभ्यर्थियों को उनके लिंग के आधार पर राष्ट्रीय रक्षा अकादमी और नौसेना अकादमी परीक्षा देने के अवसर नहीं दिया जाता है. जबकि, समान रूप से 10+2 स्तर की शिक्षा प्राप्त करने वाले पुरुष अभ्यर्थियों को परीक्षा देने और अर्हता प्राप्त करने के बाद भारतीय सशस्त्र बलों में स्थायी कमीशंड अधिकारी के रूप में नियुक्त होने के लिए प्रशिक्षित होने के लिए राष्ट्रीय रक्षा अकादमी में शामिल होने का अवसर मिलता है.

कोर्ट ने कहा कि मौजूदा जनहित याचिका में पात्र और इच्छुक महिला उम्मीदवारों को राष्ट्रीय रक्षा अकादमी में शामिल होने के अवसर से वंचित कर भारतीय संविधान के अनुच्छेद 14, 15, 16 और 19 के उल्लंघन का मुद्दा उठाया गया है. महिला उम्मीदवारों को भारतीय सशस्त्र बलों के भविष्य के नेताओं के रूप में राष्ट्रीय रक्षा अकादमी में नामांकन, प्रशिक्षण और खुद को विकसित करने का मौका दिया जाना चाहिए.

Posted By: Shaurya Punj

Prabhat Khabar App :

देश, एजुकेशन, मनोरंजन, बिजनेस अपडेट, धर्म, क्रिकेट, राशिफल की ताजा खबरें पढ़ें यहां. रोजाना की ब्रेकिंग हिंदी न्यूज और लाइव न्यूज कवरेज के लिए डाउनलोड करिए

Advertisement

अन्य खबरें

ऐप पर पढें