सुनील गुप्ता, नमिता पाठक, जगराज के बाद अब कोल्हान अध्यक्ष अरुण मुर्मू ने भी दिया इस्तीफा
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सबसे ज्यादा सीट जीतने के बाद भी बिखरा जेसीएम
सुनील गुप्ता, नमिता पाठक, जगराज के बाद अब कोल्हान अध्यक्ष अरुण मुर्मू ने भी दिया इस्तीफा डैमेज कंट्रोल को आज आयेंगे हेमंत सोरेन अौर अमित महतो, करेंगे पूरे मामले की समीक्षा चाईबासा : कोल्हान विवि छात्र संघ चुनाव में झारखंड छात्र मोर्चा ने शानदार प्रदर्शन किया. मोर्चा के सर्वाधिक 26 उम्मीदवारों ने जीत हासिल की, […]
डैमेज कंट्रोल को आज आयेंगे हेमंत सोरेन अौर अमित महतो, करेंगे पूरे मामले की समीक्षा
चाईबासा : कोल्हान विवि छात्र संघ चुनाव में झारखंड छात्र मोर्चा ने शानदार प्रदर्शन किया. मोर्चा के सर्वाधिक 26 उम्मीदवारों ने जीत हासिल की, लेकिन इस जीत का जेसीएम को फायदा होने के बजाये संगठनात्मक रूप से सबसे ज्यादा नुकसान हुआ है. कारण है कि छात्र संघ चुनाव की प्रक्रिया शुरू होने से लेकर रिजल्ट आने तक करीब 30 से ज्यादा पदाधिकारियों ने इस्तीफा दे दिया है. संगठन में हर मोर्चा पर फ्रंट में रहने वाले सुनील गुप्ता एंड टीम ने पिछले दिनों पार्टी से इस्तीफा दे दिया,
वहीं रविवार को जेसीएम के कोल्हान अध्यक्ष अरुण मुर्मू ने भी इस्तीफा दे दिया है. अरुण मुर्मू ने जेसीएम के केंद्रीय अध्यक्ष अमित महतो को एक पत्र लिखा है, जिसमें उन्होंने लिखा है कि कोल्हान विवि के चुनाव में कॉलेजवार होने वाले चुनाव में उन्होंने जबरदस्त जीत दिलायी, लेकिन विवि की चुनाव में पार्टी जीत नहीं सकी. इसी वजह से उन्होंने अपने पद से इस्तीफा दे दिया है. इससे अलावा जेसीएम के महानगर अध्यक्ष जगराज सिंह ने भी इस्तीफा दे दिया है. कोल्हान उपाध्यक्ष नमिता पाठक ने भी जेसीएम से इस्तीफा दे दिया है.
आज आयेंगे हेमंत सोरेन व अमित महतो : जेसीएम में अचानक से मची भगदड़ की वजह से केंद्रीय नेतृत्व भी सकते में है. यही कारण है कि सोमवार को हेमंत सोरेन व जेसीएम के केंद्रीय अध्यक्ष अमित महतो पूरे मामले की समीक्षा करेंगे, अौर पार्टी से बाहर जाने वालों की बातें भी सुनेंगे. इसके बाद आगे का निर्णय लिया जायेगा.
बाबूलाल सोरेन की वजह से पार्टी कमजोर हो रही है : अर्जुन पूर्ति
संगठन की अोर से तय किया गया था कि यूनिवर्सिटी रिप्रेजेंटेटिव पद के लिए पश्चिमी सिंहभूम का ही उम्मीदवार होगा. इसके लिए उदय माझी से काफी मेहनत कर सारा कुछ तय भी कर लिया गया था, लेकिन इसी बीच बाबूलाल सोरेन ने बिना किसी से पूछे यूआर पद के लिए अपने उम्मीदवार का नॉमिनेशन फाइल करवा दिया. उसकी वजह से पार्टी में फूट हो गयी. निर्दलीय उम्मीदवार को अपने पक्ष में ले लिया गया था, लेकिन अंत समय में बाबूलाल सोरेन की वजह से एबीवीपी की मदद लेनी पड़ी. इससे कार्यकर्ताअों का मनोबल टूट गया है अौर पार्टी के सभी समर्पित कार्यकर्ता इस्तीफा दे रहे हैं. बाबूलाल सोरेन के पास तो काशीसाहू कॉलेज में खड़ा करने के लिए उम्मीदवार नहीं था.
मुझे तो अपनों ने लूटा, गैरों में कहां दम था : बाबूलाल सोरेन
मैंने जेसीएम समर्थित उम्मीदवार का नॉमिनेशन करवाया. उसकी जीत के लिए हर तरीके से प्रयास किया, लेकिन अपने घर के लोगों ने ही दगाबाजी कर दी. दूसरों को लूटने की हिम्मत नहीं है. मुझे तो अपनों ने लूटा गैरों में कहां दम था, मेरी कश्ती वहीं डूबी जहां पानी कम था. उदय की वजह से पार्टी कमजोर हो रहा है. इस चुनाव में हमने जीत कर भी काफी कुछ खोया है,
इसकी भरपाई अगले चुनाव में की जायेगी. रही बात अर्जुन पूर्ति द्वारा लगाये जा रहे आरोप की तो उसे पार्टी के बड़े नेताअों पर टीका टिप्पणी करने से बचनी चाहिए. इधर, एलबीएसएम कॉलेज जमशेदपुर के यूआर पद के प्रत्याशी अनिल सोरेन ने कहा कि विधायक जोबा माझी के पुत्र उदय माझी ने संगठन के खिलाफ काम किया है. बाबूलाल सोरेन को नहीं, बल्कि जेसीएम को चुनौती दी है.
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