छात्राओं ने कहा-विज्ञान व कॉमर्स विभाग में छात्राओं के लिये शौचालय तक नहीं हैं. फोटो फाइल 19आर-2- रामगढ़ कॉलेज परिसर की जर्जर सड़क फोटो फाइल 19आर-3- कॉलेज में पढ़ने वाली छात्राएं फोटो फाइल 19आर-4- रामगढ़ कॉलेज का भवन फोटो फाइल 19आर-5- प्राचार्या डॉ रत्ना पांडेय फोटो फाइल 19आर-6- रामगढ़ कॉलेज रामगढ़ का प्रवेश द्वार भागीरथ महतो रामगढ़. रामगढ़ कॉलेज रामगढ़ के स्थापना का 62 वर्ष पूरा हो गया है. रामगढ़ जिले के सबसे प्रतिष्ठित एकमात्र सरकारी कॉलेज है. लेकिन आज भी कॉलेज आधारभूत संरचनाओं और समस्याओं से जूझ रहा है. कॉलेज बहुत मुश्किल से नैक ग्रेड में सी ग्रेड प्राप्त किया है. दस वर्षों तक नैक एग्रीडेशन से वंचित रहने के बाद हाल के दिनों में मान्यता प्राप्त करने में सफल हुआ है. कॉलेज में छात्रों की संख्या लगातार बढ़ रही है. वहीं स्वीकृत शिक्षक के 27 पद के स्थान पर मात्र 16 शिक्षक कार्यरत हैँ. शिक्षकों के सेवानिवृत होने के बाद 11 शिक्षक का पद खाली है. शिक्षकेत्तर कर्मचारी, लाइब्रेरियन प्रयोगशाला सहायक समेत कई पद खाली रहने से कॉलेज संचालन के कार्यो पर असर पड़ रहा है. कॉलेज की जमीन पर लगातार अतिक्रमण हो रहे हैँ. कॉलेज की चहारदीवारी नहीं होने से जानवर समेत असामाजिक तत्वों का भी प्रवेश दिनचर्या बन गया है. छात्रों के लिये मात्र चार कमरें का छात्रावास है. प्राचार्य, शिक्षक, शिक्षकेत्तर और छात्रों को कॉलेज से मिलने वाली सुविधाएं नियमानुकूल नहीं मिल रहा है. रामगढ़ कॉलेज में आधारभूत संरचना की कमी. विद्यार्थियों की परेशानी, विश्वविद्यालय व सरकार से अपेक्षाएं जानने का प्रयास किया गया है. प्रभात खबर ने कॉलेज कैंपस अभियान के तहत प्राचार्य, शिक्षक, विद्यार्थियों से उनकी परेशानियों को जानने का प्रयास किया है. रामगढ़ कॉलेज में पढ़ने वाले विद्यार्थियों ने कहा- काफी समस्याएं हैं कॉलेज के प्रवेश द्वार से कॉलेज के अंदर विभिन्न विभागों तक जाने वाली सड़के काफी जर्जर है. छात्र देवा रजक सेमेस्टर-एक ने बताया. सड़क में जगह-जगह पर गड़ढे हैं. विद्यार्थियों की साइकिल, मोटर साइकिल और गाड़ी सड़को पर चलाने में दिक्कत होती हैं. दुर्घटनाएं भी घटती है. छात्रा करिश्मा कुमारी ने बताया कि परिसर में जहां तहां झाड़ी उग आयी है. साफ-सफाई का अभाव है. छात्रा दिशा कुमारी ने बताया कि कॉलेज का शौचालय काफी गंदा रहता है. शौचालय में पानी की भी समस्या है. छात्रा सीमा कुमारी ने बताया कि कॉलेज में अलग-अलग विभाग के भवन हैं. लेकिन छात्राओं का शौचालय सिर्फ आर्ट्स ब्लॉक में हैं. इससे छात्राओं को परेशानी होती है. छात्रा निशा ने बताया कि कॉलेज परिसर में चहारदीवारी नहीं रहने से बाहरी लोग भी कॉलेज में प्रवेश करते हैं, जिससे छात्राएं असुरक्षित महसूस करती हैं. छात्रा अनिता कुमारी ने बताया कि छात्राओं के लिये खेल मैदान में विशेष सुविधाएं बढ़ायी जाये. हर खेल को खेलने का अवसर छात्राओं को नहीं मिल पाता है. छात्र माेनटी कुमार सेमेस्टर चार ने बताया कि खेल मैदान को भी व्यवस्थित करने की जरूरत है. मैदान में कई जगह गड्ढें हैं. पूरे मैदान में घांस लगाया जाये, ताकि खेलने के दौरान विद्यार्थी चोटिल होने से बच सकें. छात्र अर्जुन कुमार ने बताया कि छात्रवृति समय पर नहीं मिल रहा है, जिससे हमलोगों का पढ़ायी बाधित हो रहा है. इसी तरह छात्रों ने अन्य विषयों पर भी बातचीत की है. कमियों के बारे में अधिकारियों को बता दिया गया है : प्राचार्य रामगढ़ कॉलेज की प्राचार्या डॉ रत्ना पांडेय ने बताया कि रामगढ़ कॉलेज में चहारदीवारी, सड़क निर्माण, स्ट्रीट लाईट अलग-अलग भवन निर्माण, ओपेन स्टेडियम, खेल मैदान, लड़को के लिये छात्रावास समेत कई विकास कार्यों के लिये योजना बनायी गयी है. विनोबा भावे विश्वविद्यालय, झारखंड सरकार और रामगढ़ जिला प्रशासन को विभिन्न योजनाओं को कराने के लिये योजना संबंधी आवेदन भी दिये गये हैं. कॉलेज में जो संसाधन की कमी है. उसकी जानकारी विश्वविद्यालय और अन्य संबंधित विभागों के उच्च अधिकारियों को दिया गया है.
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