धनबाद: कांग्रेस नेता नीरज सिंह समेत चार लोगों की हत्या प्रोफेशनल अपराधियों ने की है. योजनाबद्ध तरीके से स्वचालित हथियारों से अंधाधुंध गोलीबारी कर चारों लोगों को मौत की नींद सुला दिया गया. पूरे घटनाक्रम से यह पता चलता है कि अपराधी पिछले कई दिनों से नीरज सिंह की रेकी कर रहे थे. उनकी हर गतिविधि पर नजर थी. आज भी उनकी गाड़ी का पीछा किया जा रहा था. मौका स्टील गेट पर मिला. स्पीड ब्रेकर के पास गाड़ी धीमी होते ही हथियारों का मुंह नीरज सिंह व उनके लोगों की तरफ खोल दिया.
दर्जनों राउंड फायरिंग की गयी. घटना को अंजाम देने के बाद बाइक सवार अपराधी काफी तेज गति से गोल बिल्डिंग की ओर भाग निकले. जिस तरह हत्या की गयी, उससे यही लगता है कि शूटर बाहर से मंगवाये गये थे. नीरज किसी हालत में न बचने पायें, इसकी पूरी रणनीति बनायी गयी थी. पूर्व डिप्टी मेयर झरिया के कतरास मोड़ स्थित अपने ऑफिस से सरायढेला स्थित रघुकुल अावास के लिए निकले थे. आशंका है कि क्रिमिनल झरिया से ही नीरज के वाहन का पीछा कर रहे थे. संभवत: वाहन की स्पीड व भीड़भाड़ के कारण उन्हें रास्ते में कहीं मौका नहीं मिला. प्रत्यक्षदर्शियों ने बताया कि क्रिमिनल हेलमेट नहीं पहने थे. इससे पता चलता है कि वह स्थानीय नहीं थे. उन्हें पहचान का डर नहीं था. स्थानीय लोगों का कहना है कि दो बाइक पर चार-पांच अपराधी थे, जो ताबड़तोड़ फायरिंग कर रहे थे.
रंजय हत्याकांड से मिलता-जुलता मामला
जिस तरह रंजय की हत्या रघुकुल के समीप हुई, उसी तरह कुंती निवास के समीप नीरज समेत चार लोगों को भून दिया गया. दोनों घटनास्थलों के बीच की दूरी लगभग एक किमी है. स्टील गेट से बिग बाजार तक का इलाका भीड़भाड़ वाला है. जहां नीरज को गोलियों से भूना गया, वहां सुबह हो या शाम, जाम लगा रहता है. बावजूद शूटर नीरज समेत चार लोगों को गोलियों से छलनी कर आराम से भाग निकले. अमूमन प्रोफेशनल शूटर उनकी ही हत्या करते हैं, जिसकी सुपारी मिली होती है. वह किसी दूसरे की हत्या करना गैर मुनासिब समझते हैं. सकलदेव सिंह की हत्या, संजय सिंह की हत्या इसका उदाहरण है. आज क्रिमिनल ने नीरज समेत चार लोगों की हत्या कर दी. गोली तबतक मारी जाती रही, जब तक चारों ने दम नहीं तोड़ दिया.
आंख में लगी गोली आरपार हो गयी
नीरज सिंह की बायीं आंख में लगी गोली भेजा फाड़कर निकल गयी थी. उनके सीना, पेट, ठुड्डी में गोली थी. पूरे शरीर में 20 से ज्यादा गोलियां लगीं.
