चैनपुर. थाना क्षेत्र के मलिक सराय गांव स्थित मां जगदंबा मंदिर परिसर में रामकथा आयोजित की गयी. श्रीराम कथा के दौरान मंगलवार की रात कथा वाचक श्री अजय पारासर महाराज ने श्रीराम व सीता के विवाह एवं विदाई का वर्णन किया. इसे सुनकर श्रोता भावविभोर हो उठे. काशी के कथा वाचक अजय पारासर महाराज ने कहा कि सीता-राम का विवाह भक्त और भगवान का मिलन है. यहां सीता भक्त हैं और श्रीराम भगवान. उन्होंने विवाह महोत्सव की बड़े ही मनमोहक अंदाज में कथा का वाचन किया. उन्होंने सीता-राम विवाह की मनमोहक मिथिला के विवाह गीत की प्रस्तुति भी दी. महाराज ने कथा के दौरान धनुष यज्ञ पर विस्तार से कथा सुनायी. कहा कि जब भगवान श्रीराम के हाथों से धनुष टूटा, तो किसी ने धनुष से पूछा कि सीता-राम के विवाह में सभी खुश हैं, पर तुम तो बहुत दुःखी होगे. क्योंकि तुम्हें भगवान राम ने तोड़ कर धरती पर डाल दिया है. तब उस टूटे हुए धनुष ने जवाब दिया, मैं सबसे ज्यादा खुश हूं. क्योंकि हम जब तक जुड़े थे, तब तक दूसरे को तोड़ने का काम करते थे. देखो आज हम टूट कर भी सीता और राम को जोड़ने का काम कर रहे हैं. आज मेरे टूटने के कारण ही सीता और श्री रामचंद्र जुड़कर एक हो जायेंगे. फिर मेरा सौभाग्य तो देखो हम टूट कर भी भगवान राम के चरणों में पड़े हुये हैं. धनुष यज्ञ के बाद कथा वाचक ने अयोध्या से मिथिला के लिए महाराज दशरथ का सभी बारातियों के साथ प्रस्थान से लेकर मिथिला पहुंचने तक की कथा काे भी बहुत ही रोचक एवं सरस अंदाज में वर्णन किया. सीता की विदाई प्रसंग कहते हुये कहा कि सीता की विदाई पर राजा जनक और रानी सुनैना आंसू नहीं रोक पा रहे थे. सीता विदाई का वर्णन सुनकर श्रद्धालुओं की भी आंखें भर गयीं. बता दें की मलिक सराय गांव स्थित मां जगदंबा मंदिर में नवरात्रि के अवसर पर श्रीराम कथा का आयोजन किया जा रहा है. इस कथा के दौरान राजवंश कुशवाहा ने बताया कि पूरे गांव समाज के सहयोग से इस कार्यक्रम का आयोजन किया जा रहा है. वहीं, कथा के दौरान काफी संख्या में महिला व पुरुष श्रीराम कथा का रसपान करने नजर आये.
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