नयी दिल्ली/बेंगलुरु: भारतीय जनता पार्टी कर्नाटक में सरकार बनाने के लिए किसी जल्दबाजी में नहीं है क्योंकि कांग्रेस-जदएस के 17 बागी विधायकों के भाग्य का फैसला अभी नहीं हुआ है. राज्य विधानसभा के अध्यक्ष ने बागी विधायकों के इस्तीफों या दोनों दलों द्वारा उन्हें अयोग्य घोषित किये जाने के आवेदन पर अभी निर्णय नहीं लिया है.
भाजपा के सूत्रों ने कहा कि विधानसभा अध्यक्ष रमेश कुमार द्वारा निर्णय लेने या इस मुद्दे पर सुनवाई कर रहे उच्चतम न्यायालय द्वारा कोई फैसला लिये जाने के बाद ही पार्टी अगला कदम उठायेगी. उन्होंने कहा कि पार्टी का केंद्रीय नेतृत्व विकल्पों की तलाश कर रहा है. इस तरह के विचार भी सामने आ रहे हैं कि भाजपा को राज्य में विधानसभा चुनाव कराकर स्पष्ट बहुमत हासिल करना चाहिए, लेकिन कई नेताओं का मानना है कि पार्टी को सरकार बनाने का दावा करना चाहिए. विधानसभा अध्यक्ष द्वारा लिये गये निर्णय का अगली सरकार पर असर पड़ेगा. जब तक बागी विधायक सदन के सदस्य बने रहते हैं, भाजपा के पास स्पष्ट बहुमत नहीं होगी और इसके कुछ नेताओं को आशंका है कि इस तरह की स्थिति में अगली सरकार बनाने के लिए आगे बढ़ना ठीक नहीं है.
मुख्यमंत्री पद के मुख्य दावेदार भाजपा नेता बीएस येदियुरप्पा को 2018 के विधानसभा चुनावों के बाद मुख्यमंत्री पद से इस्तीफा देना पड़ा था, क्योंकि सबसे बड़ी पार्टी होने के आधार पर सरकार बनाने का दावा करने के बावजूद वह बहुमत नहीं जुटा सके थे. बहरहाल, पार्टी के एक नेता ने कहा कि भाजपा के लिए अब चीजें ज्यादा आसान हैं क्योंकि बागी विधायकों ने कांग्रेस-जदएस की सरकार गिराकर अपना कार्ड खेल दिया है. उन्होंने कहा, हम अब भी इंतजार करेंगे और देखेंगे. जल्दबाजी क्या है. येदियुरप्पा अगली सरकार बनाने का दावा करने के लिए इच्छुक हैं, लेकिन पार्टी का केंद्रीय नेतृत्व फूंक-फंककर कदम रख रहा है. उन्होंने कहा कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और भाजपा अध्यक्ष अमित शाह सहित पार्टी के शीर्ष नेता मामले पर जल्द निर्णय करेंगे.
इस बीच, कर्नाटक भाजपा के अध्यक्ष बीएस येदियुरप्पा ने कहा कि वह राज्य में वैकल्पिक सरकार बनाने का दावा पेश करने के लिए पार्टी के केंद्रीय नेतृत्व के निर्देशों का इंतजार कर रहे हैं. येदियुरप्पा ने यहां अपने प्रदेश मुख्यालय ‘केशव कृपा’ में आरएसएस नेताओं से मुलाकात के बाद पत्रकारों से कहा, मैं दिल्ली से निर्देशों का इंतजार कर रहा हूं. मैं किसी भी वक्त विधायक दल की बैठक बुला सकता हूं और (दावा पेश करने के लिए) राजभवन जा सकता हूं. उन्होंने कहा कि यह राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ के आशीर्वाद और सहयोग से ही संभव हुआ है कि वह मुख्यमंत्री बनने के लिए तालुक से राज्य स्तर तक पहुंचे. उन्होंने कहा, मैं अगला कदम उठाने से पहले संघ परिवार के बड़ों से आशीर्वाद लेने यहां आया हूं.
वरिष्ठ भाजपा विधायक जेसी मधुस्वामी ने कहा, पार्टी के राष्ट्रीय अध्यक्ष अमित शाह को पर्यवेक्षक की मौजूदगी में नेता का चुनाव करने के लिए विधायक दल की बैठक बुलाने के वास्ते हमें निर्देश देना होगा. उन्होंने कहा, चूंकि हम राष्ट्रीय पार्टी है तो चीजें लोकतांत्रिक तरीके से होनी चाहिए, इसलिए हम उनके निर्देशों का इंतजार कर रहे हैं. इसके बाद राज्यपाल से मिलने का समय मांगा जायेगा. गौरतलब है कि विधानसभा में शक्ति परीक्षण में कुमारस्वामी को भाजपा के 105 मतों के मुकाबले 99 वोट ही मिले.