Chanakya Niti: बड़े बुजुर्ग कह गये हैं जिंदगी में किसी को कमतर नहीं आंकना चाहिए. क्योंकि कब वह किसी मोड़ पर काम आ जाए कहना मुश्किल होता है. चाहे वह अमीर हों या गरीब या फिर हो बेहद मूर्ख. अक्सर देखा जाता है किसी हल्के में लेना कई बार भारी पड़ जाता है. महान राजनीतिज्ञ और अर्थशास्त्री चाणक्य ने भी इस बारे में गहरी सलाह दी है. उनका मानना था कि जिन्हें हम अक्सर नजरअंदाज कर देते हैं, वही लोग हमें कभी-कभी जिंदगी में बड़े सबक सिखा जाते हैं. कई बार ऐसा भी होता है कि कोई मामूली सा दिखने वाला इंसान भी हमें कई चीजें सीखा जाता है. अगर उनकी बातों को ध्यान में रख लिया जाए तो हम बड़ी मुश्किलों और गलतियों से बच सकते हैं. आइये जानते हैं कि चाणक्य के अनुसार किन लोगों को कभी कम आंकने की गलती नहीं करना चाहिए, क्योंकि जरा सी भूल हमें बड़ा नुकसान पहुंचा सकती है.
कमजोर दिखने वाले दुश्मन को कभी हल्के में न लें
चाणक्य नीति में कहा गया है कि “दुर्बलं प्रतिकूले च न हीनं मन्यते बुधः.”यानी कि बुद्धिमान व्यक्ति कभी कमजोर दुश्मन को भी हल्का नहीं समझता. क्योंकि कमजोर दिखने वाला व्यक्ति भी मौका मिलने पर बड़ा नुकसान पहुंचा सकता है. दुश्मन चाहे कितना भी छोटा क्यों न हो, उसकी नीयत खराब होने पर खतरा उतना ही बड़ा होता है. आज के समय में भी यह बात सही बैठती है. कई बार करियर, नौकरी, बिजनेस या पारिवारिक मामलों में लोग उन्हें कमजोर या मूर्ख समझने की भूल कर देते हैं. उन्हें लगता है कि वह कुछ नहीं कर पाएगा लेकिन उसी वक्त ऐसा होता है कि वह शख्स किसी को बड़ा नुकसान पहुंचा सकता है.
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गरीब व्यक्ति की बुद्धि और सलाह की अनदेखी न करें
चाणक्य कहते हैं कि बुद्धि का संबंध हमेशा पैसे से नहीं होता है. कई बार अमीर लोगों की तुलना में एक गरीब, संघर्षरत व्यक्ति ज्यादा सूझबूझ वाला होता है. क्योंकि गरीब व्यक्ति का अनुभव किसी भी बड़ी किताब से ज्यादा गहरा होता है. ऐसे लोग जमीन से जुड़े और वास्तविक अनुभवों पर आधारित सलाह देते हैं
शांत स्वभाव वाले इंसान की ताकत को नजरअंदाज न करें
चाणक्य कहते हैं “मौनं सर्वार्थसाधनम्.” यानी मौन इंसान के पास अक्सर सबसे ज्यादा समझ और शक्ति होती है. कई बार लोग शांत व्यक्ति को कमजोर समझ लेते हैं, लेकिन ऐसे लोग सही समय पर सही निर्णय लेने में माहिर होते हैं. उनकी सहनशक्ति और धैर्य उन्हें मजबूत बनाता है. जब वे कदम उठाते हैं, तो बहुत सोच-समझकर उठाते हैं और उसका असर बेहद प्रभावशाली होता है.
छोटे पद पर काम करने वाले व्यक्ति को नीचा न दिखाएं
चाणक्य का कहना था कि कोई भी पद बड़ा या छोटा नहीं होता है बल्कि योग्यता और चरित्र बड़ा होता है. अक्सर लोग नौकरी या आर्थिक स्थिति देखकर दूसरों को कम समझ लेते हैं, लेकिन वे अक्सर भूल जाते हैं कि आज का छोटा कर्मचारी कल बड़ा अधिकारी भी बन सकता है. क्योंकि छोटे पद पर काम करने वाले लोग अक्सर ईमानदार, मेहनती और बेहद अनुभवी वाले लोग ही होते हैं. इसलिए इंसान का सम्मान उसके पद से नहीं, उसके कर्म से करना चाहिए.
साधारण दिखने वाले व्यक्ति की क्षमता को कम मत आंकें
चाणक्य बताते हैं कि साधारण चेहरे या सरल स्वभाव वाले लोग कई बार असाधारण प्रतिभा के मालिक होते हैं. वे दिखावे में विश्वास नहीं करते, लेकिन जब मौका आता है तो अपनी क्षमता से सबको चौंका देते हैं.


