प्रतिनिधि,सीवान.रविवार को गिरफ्तारी के बाद लोजपा नेता रईस खान एक बार फिर चर्चा में हैं .बिहार से लेकर ओडिशा समेत अन्य कई राज्यों में अपने आपराधिक कारनामों के बदौलत डेढ़ दशक तक खान बंधु की दहशत बना रहा.इस दौरान इन राज्यों के थानों में दर्ज होते आपराधिक मामलों की संख्या बढ़कर पुलिस रिकार्ड के मुताबिक 52 तक पहुंच गयी.हालांकि अपराध की दुनिया की बादशाहत को पीछे छोड़कर पिछले पांच वर्ष से रईस खान ने राजनीति में अपनी पैठ बनानी शुरू कर दी थी. वर्ष 2022 में लड़े थे एमएलसी का चुनाव रईस खान ने वर्ष 2022 में सीवान से एमएलसी का निर्दलीय चुनाव लड़े थे. एमएलसी चुनाव के दौरान रईस खान पर गोलीबारी की घटना हुई थी. इस गोलीबारी की घटना में ओसामा शहाब को नामजद आरोपित बनाया गया था.इसके बाद से दो पक्षों में राजनीतिक गोलबंदी साफ देखने को मिली.रईस के चुनावी अभियान में जदयू के कई कद्दावर नेता भी शामिल रहे.रईस को इस चुनाव में हार का सामना करना पड़ा. चिराग ने दिलायी लोजपा की सदस्यता राजनीति में बढ़ती पैठ के बीच कुछ माह पूर्व ही रईस खान ने लोजपा (आर) की सदस्यता ग्रहण कर ली थी.लोजपा प्रमुख व केंद्रीय मंत्री चिराग पासवान ने हसनपुरा प्रखंड के सहुली में आयोजित पार्टी के कार्यक्रम में रईस खान को सदस्यता दिलायी थी.इसके साथ ही उनके कार्यकर्ताओं में यह चर्चा है कि रईस खान विधानसभा क्षेत्र रघुनाथपुर से चुनाव लड़ेंगे.पार्टी जिलाध्यक्ष महादेव पासवान कहते हैं कि रईस खान की गिरफ्तारी एक राजनीतिक साजिश है.उन पर दर्ज अधिकांश मामलों में वे बरी हो चुके हैं तथा अन्य मामलों में न्यायालय से जमानत पर हैं.उनका विधानसभा चुनाव लड़ने की तैयारी है.उनके आने से हमारी पार्टी को मजबूती मिली है.उन पर पुलिस उत्पीड़न की कार्रवाई का हमारी पार्टी मजबूती के साथ विरोध करेगी. गिरफ्तारी के बाद और कस सकता है कानूनी शिकंजा रईस खान के ऊपर दर्ज 52 से अधिक आपराधिक मामले के बाद एक बाद फिर गिरफ्तारी से पुरानी फाइलें खुलने की संभावना जतायी जा रही है.पुलिस के मुताबिक साथ में गिरफ्तार आफताब आलम पर तीन व मुन्ना खान पर छह मुकदमें दर्ज हैं.जिसमें मुन्ना ग्यासपुर गांव का ही रहनेवाला है.छापेमारी के दौरान बड़ी एके 47 के 43 कारतूस , दो पिस्टल, एक कट्टा. छह चारपहिया वाहन. एक बाइक, वाकीटाकी, बुलेटप्रुफ जैकेट मिला. सिपाही बाल्मिकी हत्याकांड में आया था रईस का नाम पटना जिले के मसौढ़ी निवासी बिहार पुलिस के जवान बाल्मिकी यादव की 8 सितंबर 2022 को हत्या हुई थी.सिसवन थाना के ग्यासपुर में पुलिस गश्त के दौरान हमले में बाल्मिकी की जान चली गयी.इस मामलें में रईस खान सहित अन्य को आरोपित किया गया था.इस कांड की ठंडे बस्ते में पड़ी फाइल के एक बार फिर खुलने की संभावना जतायी जा रही है.रईस की गिरफ्तारी के बाद पुलिस हथियार की बरामदगी को लेकर डीआईजी निलेश कुमार के आये बयान के मुताबिक बाल्मिकी हत्याकांड को लेकर भी कुछ नयी जानकारी सामने आ सकती है.
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