23.1 C
Ranchi

BREAKING NEWS

Advertisement

पीएफआई मॉड्यूल से जुड़े मो. अफरोज ने बिहार में किया सरेंडर, दो साल से चल रहा था फरार

Bihar News: पीएफआई के फुलवारीशरीफ मॉड्यूल से जुड़े मो. अफरोज ने मुजफ्फरपुर स्थित विशेष कोर्ट (यूएपीए) में सरेंडर कर दिया है. वह बरुराज में युवाओं को संगठन से जोड़ने और ट्रेनिंग देने का आरोपित था और पिछले दो साल से फरार चल रहा था.

Bihar News: बिहार में फुलवारीशरीफ मॉड्यूल से जुड़े पीएफआई (पॉपुलर फ्रंट ऑफ इंडिया) के संदिग्ध सदस्य मो. अफरोज ने मुजफ्फरपुर की विशेष यूएपीए कोर्ट में सरेंडर कर दिया है. अफरोज पर बरुराज में युवाओं को संगठन से जोड़ने और ट्रेनिंग देने का आरोप था. वह पिछले दो साल से फरार था और पुलिस ने उसकी कुर्की-जब्ती की तैयारी भी शुरू कर दी थी.

एनआईए के निशाने पर था अफरोज

पूर्वी चंपारण जिले के मेहसी थाना क्षेत्र के कस्बा गांव निवासी अफरोज, पीएफआई के प्रदेश उपाध्यक्ष मो. रियाज मौरिफ का करीबी बताया जाता है. उसने बरुराज के परसौनी गांव में अब्दुल कादिर अंसारी के घर ट्रेनिंग कैंप लगाकर युवाओं को भर्ती किया था. एनआईए ने फुलवारीशरीफ मॉड्यूल की जांच के दौरान फरवरी 2023 में चकिया के हरपुर किशुनी से मो. बेलाल को गिरफ्तार किया था. पूछताछ में बेलाल ने अफरोज समेत अन्य आरोपियों के बारे में अहम जानकारी दी थी, जिसके बाद एनआईए ने छापेमारी की थी.

ट्रेनिंग कैंप से बरामद हुए दस्तावेज और हथियार

एनआईए ने अब्दुल कादिर के घर पर छापेमारी कर ट्रेनिंग कैंप के बैनर, संदिग्ध दस्तावेज और तलवार बरामद किए थे. इसके बाद, बरुराज थाने में यूएपीए के तहत केस दर्ज किया गया, जिसमें मो. बेलाल, अब्दुल कादिर, रियाज मौरिफ, याकूब खान उर्फ सुल्तान उर्फ उस्मान और मो. अफरोज को नामजद किया गया था.

अब तक तीन आरोपी जेल में, एक अभी भी फरार

इस केस में बेलाल, कादिर और रियाज मौरिफ पहले से न्यायिक हिरासत में हैं. गृह विभाग से अभियोजन की स्वीकृति मिलने के बाद रियाज मौरिफ और कादिर के खिलाफ 17 मार्च को कोर्ट में सुनवाई होगी. वहीं, याकूब खान उर्फ सुल्तान अब तक फरार है.

पढ़िए प्रभात खबर की प्रीमियम स्टोरी: संपत्ति पर आदिवासी महिलाओं के अधिकार, क्या कहता है देश का कानून और कस्टमरी लाॅ

अंतरराज्यीय नेटवर्क से जुड़े हैं आरोपी

जांच में पता चला है कि नामजद आरोपी बिहारशरीफ के शमीम अख्तर, तमिलनाडु के मो. रोसेलन, मधुबनी के तौसीफ और अनसारुल हक जैसे पीएफआई नेताओं के संपर्क में थे. ये आरोपी पहले भी मोतिहारी के गांधी मैदान में ट्रेनिंग कैंप चला चुके हैं. परसौनी में कैंप लगाने का निर्देश पीएफआई के प्रदेश उपाध्यक्ष रियाज मौरिफ ने व्हाट्सएप के जरिए दिया था, जिसे अफरोज और याकूब खान ने अंजाम दिया. एनआईए अब इस पूरे मॉड्यूल से जुड़े अन्य सदस्यों की तलाश में जुटी हुई है और जल्द ही नए खुलासे हो सकते हैं.

Prabhat Khabar App :

देश, एजुकेशन, मनोरंजन, बिजनेस अपडेट, धर्म, क्रिकेट, राशिफल की ताजा खबरें पढ़ें यहां. रोजाना की ब्रेकिंग हिंदी न्यूज और लाइव न्यूज कवरेज के लिए डाउनलोड करिए

Advertisement

अन्य खबरें

ऐप पर पढें