वाशिंगटन : अमेरिका ने एचआईवी..एड्स से मुकाबला करने के लिए अगले तीन सालों में पांच अरब अमेरिकी डॉलर की राशि देने की पेशकश की है, वहीं बाकी दुनिया के देशों ने मिलकर इस राशि से दोगुनी राशि देने की प्रस्ताव किया है.
अमेरिकी राष्ट्रपति बराक ओबामा ने एड्स पर एक नीतिगत व्याख्यान में कहा, अमेरिका अगले तीन सालों में दूसरे दानदाताओं द्वारा दिए जाने वाले हर दो डॉलर के बदले अपनी ओर से 1 डॉलर के साथ कुल 5 अरब डॉलर तक की मदद देगा. ब्रिटेन ने भी इसी तरह का वादा किया है. ओबामा ने कहा, अमेरिका एचआईवी और एड्स के खिलाफ लड़ाई में वैश्विक अगुवा बना रहेगा. उन्होंने साथ ही कहा कि समय आ गया है कि एड्स से मुक्त पीढ़ी तैयार करने के लिए दुनिया साथ आए और नए लक्ष्य तय करे.
अमेरिकी राष्ट्रपति ने कहा कि अमेरिका इस समय पेपफार (प्रेसीडेंट्स इमरजेंसी प्लान फॉर एड्स रिलीफ) के लिए एक स्थायी नेता चुनने की खातिर कड़ी मेहनत कर रहा है. उन्होंने कहा, आगे की ओर देखते हुए दुनिया के लिए यह समय साथ आकर नए लक्ष्य तय करने का है.
ओबामा ने कहा, हम एक दूसरे पर जिम्मेदारी डालेंगे और साथ मिलकर इस महामारी के खात्मे के लिए काम जारी रखेंगे. इसमें वैश्विक कोष (ग्लोबल फंड) के लिए हमारा समर्थन शामिल है. इससे 140 से अधिक देशों के 60 लाख से अधिक लोगों को एंटीरिट्रोवायरल थैरेपी लेने में मदद मिलेगी. समय आ गया है कि कोष फिर से तैयार किया जाए. ओबामा ने नई पहल का ऐलान नेशनल इन्स्टीट्यूट ऑफ हेल्थ में किया ताकि एचआईवी के इलाज के लिए अनुसंधान को आगे बढ़ाया जा सके.
अमेरिकी राष्ट्रपति ने कहा कुछ नई थैरेपी विकसित करने के लिए इस परियोजना में हम 10 करोड़ डॉलर खर्च करने जा रहे हैं. निश्चित रुप से अमेरिका को इन नई खोजों की दिशा में भी आगे रहना चाहिए कि एचआईवी का पूरी तरह खात्मा कैसे किया जाए या इससे आजीवन थैरेपी लिए बिना लंबे समय के लिए छुटकारा कैसे पाया जाए. उन्होंने वैश्विक कोष तैयार करने संबंधी बैठकों में शामिल होने वाली हस्तियों से इस कार्य में सहयोग देने का आग्रह किया. ओबामा ने कहा दुनिया भर में रहे रहे एचआईवी ग्रस्त लोगों ने अपने अनुभव बताए हैं जिसके लिए वह धन्यवाद के पात्र हैं. आपकी शक्ति सराहनीय है.